सुरक्षा में सेंध लगा रहे 10245 एक्टिवेटेड सिम, डीलर समेत पांच गिफ्तार Hardoi News
हरदोई सर्विलांस स्वाट और मल्लावां पुलिस को मिली सफलता। टीम ने नकदी लैपटाप प्रिंटर और 7 मोबाइल किए बरामद।
हरदोई, जेएनएन। उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले में सुरक्षा में सेंध लागाने का बड़ा मामला सामने आया है। जहां एक तरफ पुलिस सुरक्षा के तमाम दावे कर रही है, वहीं बाजार में दो सौ से तीन सौ रुपये में बड़ी ही आसानी से अवैध रूप से प्री एक्टिवेटेड सिम के बेचे जा रहे हैं। सूचना मिलने पर सर्विलांस, स्वाट और पुलिस टीम के साथ छापा मारा। मौके से पुलिस ने 10245 बीएसएनएल के एक्टिवेटेड सिम बरामद किए। इसके साथ ही पुलिस ने 35,500 रुपये, दो प्रिंटर, तीन लैपटॉप, सात मोबाइल और एक कार भी कब्जे में ली। पुलिस ने इस मामले में पांच लोगों को गिरफ्तार भी किया है।
ये है पूरा मामला
मामला जिले के मल्लावां इलाके का है। एएसपी पूर्वी ज्ञानंजय सिंह ने बताया कि सर्विलांस टीम को यहां काफी समय से अवैध रूप से सिम को एक्टिवेट कर बेंचने की जानकारी मिली थी। जिस पर सर्विलांस प्रभारी राकेश उपाध्याय ने स्वाट टीम उपनिरीक्षक और मल्लावां कोतवाल शिवशंकर सिंह के साथ मल्लावां में छापा मारा। जिसमें पुलिस ने तीन लोगों को हिरासत में लेते हुए उनके पास से 10245 एक्टिवेटेड बीएसएनएल सिम बरामद किए। टीम ने मौके से दुकान संचालक अमित गुप्ता पुत्र श्रीकृष्ण निवासी मल्लावां कस्बा, गौरव गुप्ता पुत्र राधेश्याम, जितेंद्र द्विवेदी पुत्र मनोज कुमार निवासी बरनई चतरखा हरपालपुर, अंशूमान उर्फ लक्की पुऋ राजेश गुप्ता निवासी आवास विकास कालोनी, अजय कुमार सिंह पुत्र रामप्रताप सिंह बावन रोड, शहर कोतवाली को गिरफ्तार किया। एएसपी ने बताया कि अमित गुप्ता की मल्लावां चैराहे पर मोबाइल की दुकान है और इसके पास बीएसएनएल की डीलर शिप है। अमित के साथ ही यह लोग काम करते थे और सिम को एक्टिवेट कर उन्हें बिना आईडी के लोगों को महंगे दामो में बेंच दिया करते थे। पुलिस ने इनके खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है। टीम को एसपी ने 25 हजार रुपये का नकद इनाम दिया है।
अमित को कराया अस्पताल में भर्ती
गिरफ्तारी के बाद अमित गुप्ता की हालत बिगड़ गई। जिसके बाद पुलिस ने उसे उपचार के लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया, जहां पर उसका इलाज चल रहा है।
पुलिस ने किया खेल
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार पुलिस को मौके से लगभग 5 लाख से अधिक एक्टिवेटेड सिम मिले थे और नकदी भी अधिक मात्रा में मिली थी, लेकिन पुलिस ने आरोपितों को बचाने के लिए खेल कर दिया और सिर्फ 10245 सिम ही बरामद दिखाए।