मेट्रो स्टेशन में मोबाइल नेटवर्क के लिए मार्च तक करना होगा इंतजार, अंडरग्राउंड स्टेशन में नहीं आता है सिग्नल
मेट्रो के भूमिगत स्टेशनों में वोडाफोन एयरटेल बीएसएनल नहीं करता काम। मार्च 2020 तक करना पड़ सकता है मेट्रो यात्रियों को इंतजार।
लखनऊ, जेएनएन। शहर की रफ्तार बढ़ा रही मेट्रो के स्टेशनों पर मोबाइल नेटवर्क पूरी तरह बेपटरी है। खासकर एयरपोर्ट से मुंशी पुलिया मेट्रो स्टेशन के बीच उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कारपोरेशन लिमिटेड कोई हल नहीं ढूंढ पाया है। भूमिगत स्टेशन का आलम यह है कि यहां सिर्फ 'जियोÓ का ही नेटवर्क काम करता है क्योंकि बाकी टेलीकॉम कंपनियों और मेट्रो कार्पोरेशन के बीच पिछले कई माह से चल रही कवायद लटकी हुई है। माना जा रहा है कि 23 किमी. सफर करने वाले हजारों यात्रियों को भूमिगत स्टेशन में मोबाइल नेटवर्क को लेकर परेशानी मार्च 2020 तक उठानी पड़ सकती है।
नार्थ साउथ कॉरिडोर के 21 मेट्रो स्टेशनों में चौधरी चरण सिंह, हुसैनगंज, सचिवालय और हजरतगंज ऐसे भूमिगत स्टेशन हैं, जहां बीएसएनएल, एयरटेल व वोडाफोन आदि के मोबाइल काम करना बंद कर देते हैं। इस बाबत मेट्रो अधिकारियों का तर्क है कि उक्त टेलीकॉम कंपनियों से वार्ता चल रही है, लेकिन ठोस नतीजा नहीं निकला है। यात्रियों को तीन से चार माह तक इंतजार करना पड़ सकता है। वहीं, टेलीकॉम कंपनियां भी मेट्रो स्टेशन पर अपने उपभोक्ताओं को बेहतर सर्विस देने के लिए रुचि नहीं दिखा रही हैं।
मेट्रो चलाने से पहले करनी चाहिए व्यवस्था
मेट्रो में सफर करने वाले यात्रियों का ग्राफ प्रतिदिन 65 हजार से भी अधिक का है। नियमित यात्रा करने वाले यात्रियों की शिकायत है कि मेट्रो को आठ मार्च से अब तक कोई रास्ता निकाल लेना चाहिए। यह इंतजाम ट्रैक बिछाने के साथ ही करना चाहिए था।
यूपीएमआरसी के जनसंपर्क अधिकारी पुष्पा बेलानी ने बताया कि यूपीएमआरसी का प्रयास है कि आगामी दो से तीन माह में वोडाफोन, एयरटेल व बीएसएनएल के उपभोक्ताओं को मोबाइल नेटवर्क को लेकर परेशानी न उठानी पड़े। इसके लिए संबंधित कंपनियों से बात चल रही है।