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पुलिसकर्मियों को हॉटस्पॉट में PPE किट पहनना अनिवार्य, महिला आरक्षी समेत दो की मौत ने बढ़ाई चिंता

डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने एसएसपी व एसपी को जवानों के बीच जाकर उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी करने व सुरक्षा उपकरण व अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Thu, 07 May 2020 10:23 PM (IST)Updated: Fri, 08 May 2020 12:31 AM (IST)
पुलिसकर्मियों को हॉटस्पॉट में PPE किट पहनना अनिवार्य, महिला आरक्षी समेत दो की मौत ने बढ़ाई चिंता
पुलिसकर्मियों को हॉटस्पॉट में PPE किट पहनना अनिवार्य, महिला आरक्षी समेत दो की मौत ने बढ़ाई चिंता

लखनऊ, जेएनएन। कोरोना वायरस के संक्रमण के बढ़ते खतरे के बीच महिला सिपाही समेत दो पुलिसकर्मियों की मौत ने पूरे महकमे की चिंताएं बढ़ा दी हैं। उत्तर प्रदेश में अब तक 64 पुलिसकर्मी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं, जिनमें दो की मृत्यु हो गई है। रेड जोन के हॉट स्पॉट में मुस्तैद पुलिसकर्मियों को पीपीई किट पहनना अनिवार्य कर दिया गया है। इसके साथ पुलिसकर्मियों को सभी सुरक्षा उपकरण व अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। 

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कानपुर में तैनात महिला आरक्षी हालांकि एक माह से मेडिकल अवकाश पर थीं। बताया गया कि महिला पुलिसकर्मी ने दो मई को बच्चे को जन्म दिया था। अस्पताल में एक परिवारीजन से उन्हें कोरोना संक्रमण हुआ और उनकी पांच मई को मृत्यु हो गई। आगरा में एंटी रोमियो स्क्वाड में तैनात सिपाही की एक मई को बीमारी से मृत्यु हुई थी और इसके दो-तीन बाद आई टेस्ट रिपोर्ट से पता चला कि वह कोरोना पॉजिटिव थे। 62 अन्य पुलिसकर्मी कोरोना के संक्रमण से लड़ रहे हैं। इनमें कानपुर में सबसे अधिक 24 व फीरोजाबाद में 17 पुलिसकर्मी कोरोना पॉजिटिव हैं।

डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने कहा है कि रेड जोन के हॉट स्पॉट में मुस्तैद पुलिसकर्मी पीपीई किट जरूर पहनेंगे। उन्होंने सभी एसएसपी व एसपी को जवानों के बीच जाकर उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी करने व पुलिसकर्मियों को सभी सुरक्षा उपकरण व अन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। 10 हजार और पीपीई किट का ऑर्डर भी दिया गया है। अस्पतालों व अन्य प्रमुख स्थानों पर ड्यूटी कर रहे पुलिसकर्मियों को फेस शील्ड व अन्य उपकरण का उपयोग हर हाल में करने को कहा गया है। पुलिस के सभी भवनों व थानों का नए सिरे से सैनिटाइजेशन कराने का निर्देश भी दिया गया है।

जेल में भी कोरोना की दस्तक

जेलों में कोरोना संक्रमण की रोकथाम के कड़े बंदोबस्त के बीच आगरा सेंट्रल जेल में निरुद्ध सिद्धदोष बंदी के कोरोना संक्रमित होने की रिपोर्ट ने पूरे कारागार प्रशासन की नींद उड़ा दी है। डीजी जेल आनंद कुमार का कहना है कि आजीवन कारावास की सजा काट रहे बंदी को हाई ब्लड प्रेशर के चलते तीन मई को आगरा मेडिकल कॉलेज भेजा गया था। जहां उसके कोरोना पॉजिटिव होने की भी रिपोर्ट आई। उसकी पहले आई रिपोर्ट निगेटिव थी। अब उसकी एक अन्य रिपोर्ट का इंतजार है। बंदी के संपर्क में आए 14 बंदियों को क्वारंटाइन किया गया है। आशंका है कि उसे संक्रमण अस्पताल में हुआ। सभी तथ्यों को देखा जा रहा है।

सभी कोरोना योद्धाओं को दें सुरक्षा उपकरण : मुख्य सचिव

कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए चिकित्सा विभाग के अलावा अन्य विभागों के कर्मी भी ड्यूटी में लगे हैं। उन सभी को दस्ताने, मास्क आदि सुरक्षा उपकरण उपलब्ध कराने के निर्देश मुख्य सचिव आरके तिवारी ने दिए हैं। उन्होंने कहा कि ड्यूटी में लगे सभी कर्मियों में संक्रमण की आशंका सदैव बनी रहती है, इसलिए आवश्यक उपकरण कर्मियों को दिए जाएं। इस संबंध में सभी मंडलायुक्त, जिलाधिकारी, पुलिस आयुक्त, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों और पुलिस अधीक्षको को पत्र लिखा गया है।

मुख्य सचिव ने निर्देशित किया है कि अन्य राज्यों से वापस आ रहे श्रमिकों का चिकित्सकीय परीक्षण कराकर क्वारंटाइन में रखा जाए। श्रमिकों के कौशल की मैपिंग भी चिकित्सकीय परीक्षण के समय या क्वारंटाइन अवधि के दौरान ही कराई जाए। श्रमिकों को उनकी दक्षता के अनुसार एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी), राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (एनआरएलएम), राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (एनयूएलएम), मनरेगा, गोवंश संरक्षण केंद्र, राष्ट्रीय बागवानी मिशन (एनएचएम) और निर्माण कार्यों में रोजगार के अवसर दिए जाएंगे।


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