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Kamlesh Tiwari Murder : कमलेश हत्याकांड के तीन साजिशकर्ता गुजरात में गिरफ्तार, सूरत का फैजान मुख्य साजिशकर्ता

आपत्तिजनक टिप्पणी के चलते हिंदूवादी नेता की ली गई जान। दोनों हत्यारों की सरगर्मी से तलाश दिल्ली में मिली लोकेशन। सीतापुर में शव अंतिम संस्कार परिवार को दी गई सुरक्षा।

By Dharmendra PandeyEdited By: Published: Sat, 19 Oct 2019 11:59 AM (IST)Updated: Sat, 19 Oct 2019 08:00 PM (IST)
Kamlesh Tiwari Murder : कमलेश हत्याकांड के तीन साजिशकर्ता गुजरात में गिरफ्तार, सूरत का फैजान मुख्य साजिशकर्ता
Kamlesh Tiwari Murder : कमलेश हत्याकांड के तीन साजिशकर्ता गुजरात में गिरफ्तार, सूरत का फैजान मुख्य साजिशकर्ता

लखनऊ, राज्य ब्यूरो। हिंदूवादी नेता कमलेश तिवारी की दिनदहाड़े हुई हत्या का तानाबाना गुजरात में ही बुना गया था। 2015 में कमलेश तिवारी ने पैगंबर मुहम्मद पर जो आपत्तिजनक टिप्पणी की थी, उसे लेकर ही सूरत के कट्टरपंथियों ने साजिश रची और अपने दो साथियों को भेजकर कमलेश की हत्या कराई। पुलिस ने गुजरात एटीएस की मदद से सूरत में तीन साजिशकर्ताओं को गिरफ्तार कर घटना का पर्दाफाश किया है। हालांकि अब तक दोनों हत्यारे पुलिस के हाथ नहीं लग सके हैं। दोनों की लोकेशन दिल्ली में मिली है। डीजीपी ओपी सिंह ने शुरुआती जांच के आधार पर कमलेश हत्याकांड में किसी आतंकी संगठन की भूमिका से इन्कार किया है।

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डीजीपी का दावा है कि कमलेश की हत्या कर फरार दोनों आरोपितों के पीछे पुलिस टीमें लगी हैं और उन्हें जल्द पकड़ लिया जाएगा। बताया गया कि हत्या कर दोनों आरोपित टे्रन से भाग निकले थे। पुलिस को इसकी भनक नहीं लगी। हत्यारे पैदल ही भागे निकले थे और ट्रेन से दिल्ली रवाना हो गए थे। दोनों की अंतिम लोकेशन दिल्ली में मिली है, जिन्हें पकडऩे के लिए तीन टीमें गैर जिलों में डेरा जमाए हैं। 

डीजीपी ने बताया कि सूरत में मौलाना मोहसिन शेख सलीम (24), फैजान (21) व रशीद अहमद खुर्शीद अहमद पठान (23) को पकड़ा गया है। तीनों ने पूछताछ में कमलेश की हत्या की साजिश रचने की बात स्वीकार की है। सूरत स्थित एक साड़ी की दुकान में काम करने वाले मोहसिन शेख सलीम ने कमलेश की आपत्तिजनक टिप्पणी के वीडियो अपने साथियों को दिखाकर उन्हें कमलेश की हत्या के लिए उकसाया था और पेशे से दर्जी रशीद अहमद पठान के साथ मिलकर साजिश रची। रशीद कंप्यूटर का जानकार भी है। डीजीपी का कहना है कि हत्या का षड्यंत्र में अहम भूमिका रशीद की है।

कमलेश के हत्यारे जिस मिठाई के डिब्बे में चाकू व पिस्टल रखकर लाए थे, उसे सूरत स्थित दुकान से फैजान ने खरीदा था। दुकान में लगे सीसीटीवी कैमरे में फैजान की तस्वीरें भी मिली हैं। फैजान जूते की दुकान में काम करता है। डीजीपी का कहना है कि अब तक तीनों का कोई आपराधिक इतिहास नहीं मिला है। राशिद पठान दुबई भी जा चुका है, जो दो माह पहले ही लौटा था। जिन दो कट्टरपंथियों ने कमलेश की हत्या की, वे भी गुजरात के निवासी हैं। दोनों का यूपी कनेक्शन भी सामने आया है। गुजरात में पकड़े गए तीनों आरोपितों को पुलिस कस्टडी रिमांड पर लखनऊ लाया जाएगा। 

इस बीच, कमलेश के परिवार की सुरक्षा में चार गनर और घर में गारद तैनात की गई है। उधर, सीतापुर के महमूदाबाद में शनिवार को कमलेश के पार्थिव शरीर का अंतिम संस्कार कर दिया गया। शव यात्रा में भारी भीड़ उमड़ी थी। उल्लेखनीय है कि शुक्रवार को दिनदहाड़े लखनऊ के खुर्शेदबाग स्थित कमलेश तिवारी के आवास में उनकी गला रेतकर हत्या कर दी गई थी। भगवा कुर्ता पहनकर कमलेश के घर में दाखिल हुए दो हत्यारों ने उन्हें गोली भी मारी थी। 

कई राज अभी पर्दा उठना बाकी 

हत्या के इस षड्यंत्र में कुछ अन्य लोगों के शामिल होने व आरोपितों के पीछे किसी बड़े का हाथ होने की आशंका को भी नकारा नहीं जा सकता। दोनों हत्यारों के पकड़े जाने पर कई तथ्य पूरी तरह से स्पष्ट हो सकेंगे। 

नामजद आरोपित मौलानाओं से भी पूछताछ 

कमलेश की पत्नी किरन तिवारी ने बिजनौर के जिन मौलाना मुफ्ती नईम काजमी और इमाम मौलाना अनवारुल हक के खिलाफ हत्या की नामजद रिपोर्ट दर्ज कराई थी। पुलिस उन्हें हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है। डीजीपी का कहना है कि उनकी भूमिका की भी गहनता से जांच कराई जा रही है। 

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दो संदिग्धों को पूछताछ कर छोड़ा 

हत्याकांड में संदेह के घेरे में आए राशिद के भाई व सूरत निवासी गौरव तिवारी से भी पूछताछ की गई। गौरव ने कुछ दिन पूर्व कमलेश को फोन किया था और उनकी हिंदू समाज पार्टी में शामिल होने की इच्छा जताई थी। गौरव ने सूरत में पार्टी की जिम्मेदारी संभालने को लेकर कमलेश से बात की थी। डीजीपी का कहना है कि शुरुआती जांच में कोई भूमिका सामने न आने पर दोनों को छोड़ा गया है। जरूरत पड़ी तो दोनों से फिर पूछताछ होगी। 

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आतंकियों से कनेक्शन को नकारा 

डीजीपी ने आरोपितों का गुजरात एटीएस द्वारा पकड़े गए आइएसआइएस के आतंकी उबैद मिर्जा व कासिम से कोई कनेक्शन सामने नहीं आया है। उबैद और कासिम जेल में हैं।


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