यूपी में गणेश चतुर्थी व मुहर्रम पर बढ़ी निगरानी, संवेदनशील जिलों में अतिरिक्त सतर्कता के निर्देश
उत्तर प्रदेश के डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने गणेश चतुर्थी और मुहर्रम के लिहाज से सभी संवेदनशील जिलों में अतिरिक्त सतर्कता बरते जाने के कड़े निर्देश दिए हैं।
लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश के डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने गणेश चतुर्थी और मुहर्रम के लिहाज से सभी संवेदनशील जिलों में अतिरिक्त सतर्कता बरते जाने के कड़े निर्देश दिए हैं। खासकर सोशल मीडिया पर उन्होंने कड़ी निगरानी रखने को कहा है। कोविड-19 की गाइड लाइन का पालन करते हुए गणेश चतुर्थी और मुहर्रम मनाने के निर्देश दिए गए हैं। किसी भी प्रकार का कोई जुलूस, झांकी या शोभायात्रा नहीं निकाली जाएगी। अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के बाद से सोशल मीडिया पर अफवाहों को लेकर निगरानी बढ़ा दी गई है। पापुरल फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआइ) जैसे संगठनों के सक्रिय होने से पुलिस और भी सतर्कता बरत रही है। अधिकारियों से क्षेत्र में भ्रमणशील रहने तथा कोरोना को लेकर केंद्र सरकार की गाइडलाइन का पूरी सख्ती से पालन कराने का निर्देश भी दिया है।
मुहर्रम को देखते हुए लखनऊ, मेरठ, अलीगढ़, मुरादाबाद, बरेली, अयोध्या व सहारनपुर समेत करीब 25 जिलों में पूरी सतर्कता बरते जाने के साथ ही प्रमुख स्थानों पर कड़ी सुरक्षा-व्यवस्था रखे जाने का निर्देश दिया गया है। डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने अधिकारियों से क्षेत्र में भ्रमणशील रहने तथा कोरोना को लेकर केंद्र सरकार की गाइडलाइन का पूरी सख्ती से पालन कराने का निर्देश भी दिया है। डीजीपी ने कोरोना महामारी के संक्रमण से बचाव के लिए पुलिस को वाहनों पर लाउडस्पीकर के माध्यम से मास्क धारण करने तथा सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने के लिए जनमानस को जागरूक करने को कहा है।
बताया गया कि अयोध्या में राम मंदिर के भूमि पूजन की तरह इस बार भी कुछ संवेदनशील जिलों में 10वीं मुहर्रम से पहले वरिष्ठ अधिकारियों को भेजे जाने पर विचार चल रहा है। खुफिया विभाग भी पूरी तरह से सक्रिय हो गया है। थाना स्तर पर सांप्रदायिक व शरारती तत्वों पर कड़ी नजर रखे जाने के निर्देश भी दिए गए हैं। डीजीपी ने कहा है कि मुहर्रम के अवसर पर किसी प्रकार के जुलूस या ताजिया की अनुमति न दी जाए। धर्म-गुरुओं से संवाद स्थापित कर कोरोना के दिशा-निर्देशों का अनुपालन कराया जाए।
नहीं होगी मूर्ति स्थापना : डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने कहा है कि शांति समितियों के पदाधिकारियों, धर्मगुरुओं, ताजियादारों एवं संभ्रांत नागरिकों के साथ बैठक कर उन्हें धार्मिक कार्यक्रमों के आयोजन के संबंध में केंद्रीय गृह मंत्रालय व उत्तर प्रदेश सरकार के दिशा-निर्देशों से अवगत कराया जाए। गणेश चतुर्थी के मौके पर किसी भी पूजा-पंडाल में कोई भी मूर्ति स्थापित न की जाए और न ही किसी शोभा यात्रा की अनुमति दी जाए। सभी श्रद्वालुओं को प्रेरित किया जाए कि वे अपने-अपने घरों पर ही त्योहार मनाएं।