अयोध्या में सरयू तट पर लगेगी 221 मीटर ऊंची राममूर्ति, मॉडल हुआ जारी
Ram statue in ayodhya, योगी सरकार ने सरयू तट पर भगवान श्रीराम की 221 मीटर ऊंची मूर्ति की स्थापना का निर्णय लिया, राममूर्ति का मॉडल किया जारी।
लखनऊ, जेएनएन। अयोध्या में जब राम मंदिर निर्माण को लेकर सरगर्मी है, उसी बीच सरकार ने वहां के सरयू तट पर भगवान श्रीराम की 221 मीटर ऊंची मूर्ति की स्थापना का निर्णय लिया है। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मध्य प्रदेश की चुनावी सभाओं से वापस आने के बाद शनिवार को इस प्रस्ताव पर सहमति दी। देर रात हुई बैठक में योगी के समक्ष भगवान राम की मूर्ति व उसके आसपास किये जाने वाले सुंदरीकरण समेत अन्य कामों का प्रस्तुतीकरण दिया गया। यह मूर्ति गुजरात के सरदार सरोवर में लगाई गई सरदार पटेल की मूर्ति स्टेच्यू ऑफ यूनिटी से भी ऊंची होगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विहिप की धर्मसभा की पूर्व संध्या पर अयोध्या में भगवान राम की 221 मीटर ऊंची विशालकाय दिव्य मूर्ति स्थापित कराने तोहफा दिया। यह भव्य मूर्ति कांसे की होगी। इस मूर्ति के साथ अत्याधुनिक म्युजियम भी स्थापित होगा। इसमें अयोध्या और राम से जुड़ा पूरा इतिहास होगा। मुख्यमंत्री के सामने धनुष पर बाण चढ़ाने के लिए तत्पर वनवासी राम के स्वरूप वाली मूर्ति थी तो अलग-अलग स्वरूप में राजा राम के छवि वाली एकल मूर्ति रखी गई। मुख्यमंत्री ने छत्र के नीचे भगवान राम की पूर्ण स्वरूप वाली राजा राम के वेश वाली मूर्ति को लगाए जाने पर अपनी सहमति दी। प्रजेंटेशन के समय प्रसिद्ध मूर्तिकार रामसुतार भी मौजूद थे।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मध्य प्रदेश की चुनावी सभाओं से लखनऊ वापस आने के बाद कल रात को इस प्रस्ताव पर सहमति दी। देर रात हुई बैठक में योगी के समक्ष भगवान राम की मूर्ति व उसके आसपास किये जाने वाले सुंदरीकरण समेत अन्य कामों का प्रस्तुतीकरण दिया गया। श्रीराम की मूर्ति 151 मीटर ऊंची होगी, जबकि मूर्ति के ऊपर 20 मीटर ऊंचा छत्र तथा नीचे 50 मीटर का चबूतरा होगा। इस तरह मूर्ति की कुल ऊंचाई 221 मीटर संभावित है। राममूर्ति कांस्य की होगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सामने पांच वास्तुविद फार्मों ने प्रस्तुतीकरण दिया गया।
मूर्ति के चबूतरे के भीतर होगा म्यूजियम
बताया गया कि मूर्ति के 50 मीटर ऊंचे चबूतरे के भीतर ही भव्य व अत्याधुनिक म्यूजियम बनाए जाने की योजना है। जिसमें सप्तपुरियों में अयोध्या का इतिहास, इक्ष्वाकु वंश के इतिहास में राजा मनु से लेकर वर्तमान श्रीराम जन्मभूमि तक का इतिहास होगा। इसके साथ ही भगवान विष्णु के समस्त अवतारों के विवरण समेत भारत के सभी सनातन धर्मों के विषय में आधुनिक तकनीक के जरिये प्रदर्शन की व्यवस्था होगी।
इस योजना का विकास 250 एकड़ से अधिक भूमि पर होगा। योजना के लिए उपयुक्त भूमि का चयन, मिट्टी का परीक्षण, विंड टनेल टेस्टिंग समेत अन्य कार्य कराये जा रहे हैं। इस मौके पर स्टैचू ऑफ यूनिटी बनाने वाले विख्यात मूर्तिकार राम सुतार भी मौजूद थे। बताया गया कि भगवान राम की मूर्ति के आसपास सुंदरीकरण के अलावा कई राष्ट्रों के पर्यटन भवन बनवाने व अन्य निर्माण कार्य कराने की भी योजना है। बैठक में मुख्य सचिव अनूप चंद्र पांडेय, अपर मुख्य सचिव पर्यटन अवनीश अवस्थी, समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे। इस संबंध में इससे पूर्व भी कई बैठकें हो चुकीं है, जिसमें कई मूर्तियां देखी जा चुकीं है।
कैसी होगी भव्य राम मूर्ति
- राममूर्ति 151 मीटर ऊंची होगी।
- मूर्ति के ऊपर 20 मीटर ऊंचा छत्र होगा।
- नीचे 50 मीटर का चबूतरा होगा।
- इस तरह मूर्ति की कुल ऊंचाई 221 मीटर संभावित है।
- राममूर्ति कांस्य की होगी।
- 250 एकड़ से अधिक भूमि पर होगा इस योजना का विकास।
मूर्ति के आसपास बनेंगे कई राष्ट्रों के पर्यटन भवन
भगवान राम की मूर्ति के आसपास सुंदरीकरण के अलावा कई राष्ट्रों के पर्यटन भवन बनवाने व अन्य निर्माण कार्य कराने की भी योजना है। बैठक में मुख्य सचिव अनूप चंद्र पांडेय, अपर मुख्य सचिव पर्यटन अवनीश अवस्थी, समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे। इस संबंध में इससे पूर्व भी कई बैठकें हो चुकी हैं, जिनमें कई मूर्तियां देखी जा चुकी हैं।