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लखनऊ स्पोर्ट्स कॉलेज के बर्खास्त पूर्व कार्यवाहक प्राचार्य विजय गुप्ता के खिलाफ एफआईआर

लखनऊ में स्थित गुरु गोविंद सिंह स्पोर्ट्स कॉलेज के बर्खास्त पूर्व कार्यवाहक प्राचार्य विजय गुप्ता के खिलाफ गुडंबा थाने में सोमवार को एफआईआर दर्ज की गई।

By Umesh TiwariEdited By: Published: Tue, 15 Sep 2020 02:01 AM (IST)Updated: Tue, 15 Sep 2020 06:00 AM (IST)
लखनऊ स्पोर्ट्स कॉलेज के बर्खास्त पूर्व कार्यवाहक प्राचार्य विजय गुप्ता के खिलाफ एफआईआर
लखनऊ स्पोर्ट्स कॉलेज के बर्खास्त पूर्व कार्यवाहक प्राचार्य विजय गुप्ता के खिलाफ एफआईआर

लखनऊ, जेएनएन। राजधानी लखनऊ में स्थित गुरु गोविंद सिंह स्पोर्ट्स कॉलेज के बर्खास्त पूर्व कार्यवाहक प्राचार्य विजय गुप्ता के खिलाफ गुडंबा थाने में सोमवार को एफआईआर दर्ज की गई। फर्जी अनुभव प्रमाणपत्र लगाकर नौकरी हासिल करने वाले विजय गुप्ता पर स्पोर्ट्स कॉलेज में घटिया निर्माण कार्य करवाकर साढ़े पांच करोड़ रुपये का गबन किया था। निदेशक खेल आरपी सिंह की अध्यक्षता में बनी जांच कमेटी ने अनियमितता का दोषी पाया था और इन्हें इसी कारण निलंबित कर दिया गया था।

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खेल एवं युवा कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) उपेंद्र तिवारी ने बताया कि कूटरचित व फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र लगाकर शिक्षक की नौकरी हासिल करने वाले विजय गुप्ता के खिलाफ लखनऊ के गुडंबा थाने में सोमवार को एफआईआर दर्ज करवा दी गई। विजय गुप्ता ने राजाजीपुरम में स्थित प्री-डे एंड केयर इंटर कॉलेज में वर्ष 2000 से शिक्षक पद पर कार्यरत दिखाया था। वर्ष 2002 में एमए इतिहास और वर्ष 2003 में बीएड किया। बीएड रेग्यूलर कोर्स है और इसमें नियमित कक्षाएं और टीचिंग प्रैक्टिस के लिए स्थानीय स्कूल में जाना पड़ता है। ऐसे में लखनऊ में शिक्षक की नौकरी करते-करते यह कानपुर में किस तरह बीएड कर रहे थे। फिलहाल बर्खास्तगी के बाद एफआईआर भी दर्ज करवा दी गई।

बीते दिनों मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर सभी शिक्षकों की अंक तालिका और प्रमाणपत्रों की जांच करवाई गई, जिसमें विजय गुप्ता ने जिस प्राइवेट स्कूल में पढ़ाने का प्रमाणपत्र लगाया था, उसके प्रिंसिपल ने इसे फर्जी बताया है। यही नहीं स्कूल को हाईस्कूल की मान्यता 15 सितंबर, 2000 को व इंटर की मान्यता 27 अगस्त 2001 में मिली थी। मगर विजय गुप्ता ने अपने प्रमाणपत्र में जुलाई 2000 से ही शिक्षक के तौर पर पढ़ाने का प्रमाण पत्र लगाया था। जो कि फर्जी है।


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