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Cyber Fraud in Lucknow : खाकी भी साइबर ठगों के निशाने पर, हैकर पकड़ से दूर

लखनऊ में साइबर ठगों ने पूर्व साइबर क्राइम प्रभारी समेत कई पुलिस कर्मियों की भी फर्जी फेसबुक आइडी बनाई दो सौ से ज्यादा आ चुकी शिकायत साइबर सेल के पुलिस कर्मी भी हो चुके शिकार चार माह में आई कई शिकायतें।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Wed, 23 Sep 2020 06:00 AM (IST)Updated: Wed, 23 Sep 2020 06:00 AM (IST)
Cyber Fraud in Lucknow : खाकी भी साइबर ठगों के निशाने पर, हैकर पकड़ से दूर
लखनऊ में सक्रिय हैं साइबर ठग पुलिस भी है निशाने पर।

लखनऊ, जेएनएन। शहर में आम लोगों के साथ-साथ साइबर ठगों के निशाने पुलिस कर्मी भी है। झारखंड, बंगाल और असम में बैठकर साइबर ठगी करने वाले यह साइबर ठग पुलिस की पकड़ से दूर हैं। साइबर ठग शहर के पूर्व साइबर क्राइम सेल प्रभारी समेत करीब 40 पुलिस कर्मियों के नाम से फर्जी फेसबुक आइडी बनाकर लोगों से मदद के नाम पर पैसे मांग कर ठगी कर चुके है।

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पिछले चार माह में करीब दो सौ ऐसे मामलों की शिकायत साइबर क्राइम सेल में आ चुकी हैं। कम फेसबुक प्रयोग करने वालों को बनाते निशानासाइबर अपराधी कम फेसबुक प्रयोग करने वालों को अपना निशाना बना रखे हैं। खासतौर पर जिनकी सामाजिक प्रतिष्ठा अच्छी है और लोग उनकी पैसों की छोटी मांग पर बिना जानकारी किए पैसे भेज देंगे। यह लोग उनकी फोटो से फर्जी फेसबुक आइडी बना पहले उनके परिचितों को फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजते हैं। इसके बाद मदद के नाम पर पैसे की जरूरत का मैसेज भेजते है। साइबर सेल प्रभारी समेत कर्मचारी भी हो चुके शिकार साइबर ठगों ने साइबर क्राइम से के पूर्व प्रभारी एसीपी हजरतगंज अभय मिश्रा व भगवान सिंह के नाम पर भी फेंक आइडी बनाकर ठगी की थी। इसके साथ ही एडीजी के पीआरओ संजय संखवार, गोमती नगर के दारोगा संजय गुप्ता के साथ-साथ साइबर सेल में तैनात कई पुलिस कर्मियों की भी फर्जी आइडी बनाई।

कैसे बचे साइबर फ्राड से-

  • सोशल मीडिया पर एक्टिव आइडी सार्वजनिक सिस्टम पर ओपन करने से बचें।
  • अपने निजी कंप्यूटर व मोबाइल का प्रयोग करें।
  • अनजान लोगों को न जोड़े फेसबुक पर अपनी निजी जानकारी व फोटो शेयर न करें।
  • समय-समय पर पासवर्ड और सोशल एकाउंट चेक करते रहें।

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