अखिलेश यादव का RSS के कार्यक्रम में जाने से इन्कार, कहा-नहीं है साहस
अखिलेश यादव ने कहा कि आरएसएस के कार्यक्रम में जाने के लिए मेरे पास साहस नहीं है।
लखनऊ (जेएनएन)। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष तथा उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ(आरएसएस) के कार्यक्रम में जाने से इन्कार कर दिया है। नई दिल्ली में कल से होने वाले इस कार्यक्रम में अखिलेश यादव को आमंत्रित किया गया है।
नई दिल्ली के विमान भवन में कल से आरएसएस के तीन दिवसीय इस कार्यक्रम में अखिलेश यादव के साथ ही देश के अन्य नामचीन राजनेताओं को आमंत्रित किया गया है। अखिलेश यादव ने कहा कि आरएसएस के कार्यक्रम में जाने के लिए मेरे पास साहस नहीं है।
संघ के कार्यक्रम में जाने के सवाल पर कहा कि सरदार पटेल के संघ पर बैन लगाने की बात को पढ़कर मैं वहा जाने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा हूं। अखिलेश ने कहा कि मैं आरएसएस के बारे में बहुत ज्यादा नहीं जानता हूं, मैंने सिर्फ इतना पढ़ा है कि सरदार पटेल ने इन पर बैन क्यों लगाया था। शायद यह पढ़कर मैं उनके कार्यक्रम में जाने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा हूं। अखिलेश ने कहा कि सरदार पटेल ने जिस बात के लिए संघ पर बैन लगाया था। पटेल ने संघ के बारे जिन चीजों को लेकर बातें कही थी। मौजूदा समय में उसमें किसी तरह का बदलाव नहीं आया है। वो बातें उसी तरह से कायम हैं। अखिलेश ने कहा कि संघ पर सरदार पटेल द्वारा लगाए बैन को सभी लोगों को पढ़ना चाहिए ताकि संघ को समझा जा सके।
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि मुझे आरएसएस के बारे में ज्यादा ज्ञान नहीं है। मैंने तो केवल देश के पूर्व गृहमंत्री सरदार पटेल के आरएसएस पर प्रतिबंध लगाने के बारे में पढ़ा है और उस पैराग्राफ को पढ़कर, मेरे पास बैठक में भाग लेने का साहस नहीं है। उन्होंने कहा कि मैं हमेशा इस बात पर जोर देता हूं कि सभी को उन मामलों के बारे में कम से कम पढऩा चाहिए, जिसे सरदार पटेल ने प्रतिबंधित किया था। यह सुनिश्चित करेगा कि उन्होंने जो कुछ भी उस समय कहा था, वह स्थिति आज भी बनी हुई है।
नई दिल्ली के विज्ञान भवन में कल से 19 सितंबर तक आरएसएस का तीन दिनी कार्यक्रम 'भविष्य का भारत: संघ का दृष्टिकोण' कार्यक्रम का आयोजन कर रहा है। इसके लिए संघ ने देश से तीन हजार लोगों को आमंत्रित किया है। इनमें कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खडग़े, अखिलेश यादव, मायावती, ममता बनर्जी और चंद्रबाबू नायडू भी शामिल हैं। इस कार्यक्रम में राजनेता के साथ सामाजिक व धार्मिक समूह के साथ अल्पसंख्यक नेता, कई रिटायर्ड कर्मचारी भी हिस्सा लेंगे। इस कार्यक्रम में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत सभी लोगों से संवाद करेंगे।