सवालों के घेरे में सदर कोतवाली पुलिस का गुड वर्क
लखीमपुर : सदर कोतवाली पुलिस ने तीन दिन पहले दो शातिर लुटेरों को गिरफ्तार कर चोरी व लूट
लखीमपुर : सदर कोतवाली पुलिस ने तीन दिन पहले दो शातिर लुटेरों को गिरफ्तार कर चोरी व लूट की कई घटनाओं के खुलासे का जो दावा किया था, वह सवालों के घेरे में आ गया है। इसमें लूट की एक घटना के वादी मुकदमा ने पुलिस के खुलासे को न सिर्फ संदिग्ध बताया, बल्कि एएसपी को प्रार्थनापत्र देकर जांच की मांग की है।
सदर कोतवाली पुलिस ने रविवार को वांछित अपराधियों की तलाश के दौरान मुखबिर की सूचना पर सीतापुर रोड स्थित रिलायंस पेट्रोल पंप के पास अंसारीपुरवा की ओर से आ रहे दो संदिग्धों को गिरफ्तार किया था। इन अभियुक्तों ने अपने नाम राका उर्फ अंसार अली पुत्र हसमत अली निवासी अंसारीपुरवा मजरा चंद्रपुरा कोतवाली सदर व करण राज पुत्र इंद्रजीत निवासी ग्राम लगुचा थाना खीरी बताया था। पुलिस ने इनके कब्जे से एक तमंचा व कारतूस के अलावा 25 सौ रुपये की नकदी, चार जोड़ी लूट की पायल व एक मांग टीका बरामद बताया था। साथ ही दावा किया था कि इन अभियुक्तों ने पिछले महीने ओयल के मेढक मंदिर में चोरी के अलावा पिपरिया गांव में लूट व चोरी की घटना को अंजाम दिया था। पूछताछ में इन अभियुक्तों के बुढ़वल से सीतापुर आने वाली ट्रेनों में लूटपाट करने की बात स्वीकारने का भी दावा पुलिस ने किया था। सदर कोतवाली पुलिस के इन दावों की मंगलवार को उस समय हवा निकल गई, जब पिपरिया में बीती 9 दिसंबर 2017 की रात हुई लूट की घटना के वादी मुकदमा मुनीष कुमार वर्मा ने पुलिस के खुलासे को ही संदिग्ध बता दिया। इस मामले में मुनीष ने मंगलवार को एएसपी घनश्याम चौरसिया के सामने पेश होकर उन्हें प्रार्थनापत्र दिया। इसमें उन्होंने कहा है कि उसके यहां से बदमाश नकदी समेत लाखों रुपये के जेवर लूट ले गए थे। बीती 11 फरवरी को पुलिस ने इस घटना का खुलासा करने का दावा किया, लेकिन उन्हें इस खुलासे की कोई जानकारी नहीं दी गई। न ही उनसे कोई तस्दीक कराई गई। इतना ही नहीं पुलिस ने लूटे गए जेवर व नकदी बहुत ही कम दिखाई। मुनीष ने मामले की जांच कर उचित कार्रवाई की मांग एएसपी से की है। एएसपी घनश्याम चौरसिया ने इस संबंध में बताया कि मामले में जो भी तथ्य हैं, उनके आधार पर जांच कराकर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।