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जंगल नंबर सात और छंगाटांडा के बाद जगन्नाथ टांडा पर खतरा

भीरा (लखीमपुर): भीरा क्षेत्र के ग्राम छंगाटांडा, जंगल नंबर सात का अस्तित्व समाप्त करने के बाद

By JagranEdited By: Published: Thu, 20 Sep 2018 11:24 PM (IST)Updated: Thu, 20 Sep 2018 11:24 PM (IST)
जंगल नंबर सात और छंगाटांडा के बाद जगन्नाथ टांडा पर खतरा
जंगल नंबर सात और छंगाटांडा के बाद जगन्नाथ टांडा पर खतरा

भीरा (लखीमपुर): भीरा क्षेत्र के ग्राम छंगाटांडा, जंगल नंबर सात का अस्तित्व समाप्त करने के बाद अब शारदा नदी ग्राम जगन्नाथ टांडा में कटान कर लोगों को बर्बाद करने पर उतारू है। ग्राम जगन्नाथटांडा के पास शारदा नदी तेजी से कटान कर रही है, अब तक नदी ने यहां के छह लोगों के मकान को काट चुकी है। इसमें रामप्रकाश, रामनरेश, खुशीराम, सियाराम, प्रेमप्रकाश के घर शामिल हैं। ग्रामीण अपने गांव में गाढ़ी कमाई से बनाए गए मकानों को रोते-बिलखते अपने हाथों से तोड़ने पर विवश हैं और किसी सुरक्षित स्थान की तलाश में जुटे हैं। इसी महीने शारदा नदी ने जंगल नंबर सात और छंगा टांडा में भीषण कटान करते हुए इनका अस्तित्व ही मिटा दिया। कृषि भूमि के साथ लहलहाती फसलें और पक्के मकान सब कुछ नदी में समा गए। यहां के बा¨शदे सड़कों के किनारे डेरा डाले हुए हैं। अब तक उन्हें बसाने का इंतजाम नहीं हो सका है। ग्रामीणों का कहना है कि यदि शारदा नदी से ग्राम ढकिया तक लगभग आठ किलोमीटर नदी को गहरा कराकर एक नहर का रूप दे दिया जाए तो काफी हद तक कटान से निजात मिल सकती है।

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