गन्ने की तीन नई किस्मों को मिली स्वीकृति
प्रदेश के गन्ना किसानों की खुशहाली और उनकी आय में बढ़ोत्तरी के लिए गन्ना शोध परिषद ने तीन नई किस्में विकसित की है। लखनऊ में गन्ना आयुक्त संजय भूस रेड्डी की अध्यक्षता में संपन्न बीज गन्ना एवं गन्ना प्रजाति स्वीकृति उपसमिति की बैठक में गन्ने की तीन नई प्रजातियों को प्रदेश में सामान्य खेती के लिए स्वीकृत किया गया है।
कुशीनगर : प्रदेश के गन्ना किसानों की खुशहाली और उनकी आय में बढ़ोत्तरी के लिए गन्ना शोध परिषद ने तीन नई किस्में विकसित की है।
लखनऊ में गन्ना आयुक्त संजय भूस रेड्डी की अध्यक्षता में संपन्न बीज गन्ना एवं गन्ना प्रजाति स्वीकृति उपसमिति की बैठक में गन्ने की तीन नई प्रजातियों को प्रदेश में सामान्य खेती के लिए स्वीकृत किया गया है। इसके अंतर्गत सेवरही से विकसित की गई कोसे 13452 है, जो मध्य व देर से तैयार होने वाली प्रजाति स्वीकृत है। शाहजहांपुर से विकसित दो किस्मों मे कोशा 13235 जो अगेती किस्म है, जबकि जल प्लावित व ऊसर भूमि में पैदा करने के लिए कोशा 10239 स्वीकृत की गई है।
गन्ना शोध संस्थान के निदेशक डा. जे सिंह ने बताया कि समिति की बैठक में अगेती कोलख 11203, कोलख 09204, 11206, को 09022, 12029 मध्य देर व पश्चिमी क्षेत्र एवं मध्य क्षेत्र के लिए स्वीकृत किया गया है, पूर्वी क्षेत्र के लिए यूपी 09453 तथा कोलख 12207 अगेती तथा कोलख 12209 मध्य देर से तैयार होने वाली किस्म स्वीकृत की गई है। सेवरही संस्थान के नोडल अधिकारी डा. प्रताप सिंह ने कहा कि समिति की बैठक में स्वीकृति तीनों नई किस्में जहां चीनी परता में बेहतर है वहीं इस पर कीट और रोगों का प्रभाव भी निम्न है।
गेंदा सिंह गन्ना शोध संस्थान एवं प्रजनन केंद्र के प्रभारी अधिकारी डा. वाईपी भारती ने बताया कि नई किस्मों को प्रक्षेत्र में विस्तार किया जा रहा है। अगले साल तक किसानों को बीज उपलब्ध करा दिया जाएगा।
निदेशक डा. जे सिंह इसके बारे में जानकारी देते हुए कहा कि कोसे 13452 गेंदा सिंह शोध संस्थान से कोसे 92423 व को. 86249 को क्रास करके विकसित की गई है।