युवा मतदाताओं की संख्या कम होने पर डीएम ने जताई नाराजगी
शनिवार को निर्वाचन की तैयारियों को लेकर होने वाले वीडियो कांफ्रेंसिग के मद्देनजर खराब प्रगति वाले विधान सभा क्षेत्र के अधिकारियों को निर्देशित किया कि जेंडर रेशियो को हर हाल में पूरा किया जाए। विधानसभा वार फार्म छह छह-ए सात आठ आठ-ए की समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिए।
कुशीनगर: 18 से 19 वर्ष के युवा मतदाताओं का पंजीकरण बहुत कम होने नाराजगी जताते हुए डीएम एस राजलिगम ने अभी से सुधार लाने के निर्देश दिए। कहा कि चुनाव संबंधी कार्यों में लापरवाही पर जिम्मेदार बख्शे नहीं जाएंगे। निर्देशित किया कि ईओ व डीपीआरओ एक जनवरी 2021 से अब तक मृत प्रमाण जारी किए जाने संबंधी विवरण शीघ्र आरओ व एआरओ को उपलब्ध करा दें।
वह शुक्रवार को कलेक्ट्रेट सभागार में निर्वाचन संबंधी बैठक को संबोधित कर रहे थे। शनिवार को निर्वाचन की तैयारियों को लेकर होने वाले वीडियो कांफ्रेंसिग के मद्देनजर खराब प्रगति वाले विधान सभा क्षेत्र के अधिकारियों को निर्देशित किया कि जेंडर रेशियो को हर हाल में पूरा किया जाए। विधानसभा वार फार्म छह, छह-ए, सात, आठ, आठ-ए की समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिए। कहा कि बीएलओ के पास उपलब्ध एक-एक फार्म की डाटा इंट्री कराते हुए उसे एक्टिवेट कराएं। कर्मचारियों के डाटा के संबंध में आवश्यक निर्देश दिए। कम्युनिकेशन प्लान संबंधी जानकारी देते हुए निर्देशित किया बूथ के निकटतम दो व्यक्तियों का मोबाइल नंबर भी प्रारूप में शामिल करें, ताकि हकीकत की जानकारी ली जा सके। इस दौरान वीवीपैट, ईवीएम मशीन, बूध स्थलों की सुविधाओं, कितने बूथों पर रैंप, लाइट, फर्नीचर, टायलेट आदि की जानकारी लेते हुए आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दिए। आरओ उपमा पांडेय, महात्मा सिंह, सीएल सोनकर, वरुण कुमार पांडेय, पूर्ण बोरा, सहायक जिला निर्वाचन अधिकारी भीम सिंह, वरिष्ठ लिपिक निर्मल कुमार, मकसूद, मुरलीधर शुक्ला, सैयद कमाल असगर रिजवी आदि मौजूद रहे।
डीएनए रिपोर्ट से सच्चाई उजागर
14 सितंबर को कप्तानगंज कस्बा के सच्चिदानंद मिशन अस्पताल में नवजात (बच्चा को बच्ची से) बदलने का आरोप लगा स्वजन हंगामा किए थे। उन्हें शांत कराने के लिए प्रशासन ने डीएनए टेस्ट का आश्वासन दिया था। शुक्रवार को आई डीएनए रिपोर्ट ने अस्पताल पर लगे दाग को धुल दिया।
यह बातें अस्पताल के चिकित्सक डा. मोली पाल ने पत्रकार वार्ता में कही। उन्होंने बताया कि 12 सितंबर को कप्तानगंज थाना क्षेत्र के भड़सर खास गांव के टोला करेलिया के संजय साहनी की पत्नी राधिका को प्रसव पीड़ा हुई तो स्वजन अस्पताल ले आए। संयोगवश अस्पताल के गेट पर पहुंचते ही टेंपो में ही प्रसव हो गया। जच्चा-बच्चा को अस्पताल में भर्ती कराया गया। 13 सितंबर को नवजात की तबीयत खराब होने पर गोरखपुर रेफर कर दिया गया। 14 सितंबर को ग्रामीणों के साथ आए स्वजन अस्पताल पहुंचे और बच्चा बदले जाने का आरोप लगाकर हंगामा करने लगे। प्रभारी निरीक्षक संजय कुमार सिंह ने बताया कि डीएनए परीक्षण से साबित हो गया है कि नवजात के बायोलाजिकल पिता संजय साहनी और माता राधिका साहनी हैं। संजय की ओर से दर्ज कराए गए मुकदमे में बच्चा हेराफेरी का आरोप डीएनए रिपोर्ट से मिथ्या साबित हुआ है।