शिक्षा के क्षेत्र में अबुल कलाम का योगदान अतुलनीय
राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के अवसर पर इग्नू अध्ययन केंद्र बुद्ध स्नातकोत्तर महाविद्यालय, कुशीनगर में कार्यक्रम आयोजित किया गया
कुशीनगर: राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के अवसर पर इग्नू अध्ययन केंद्र बुद्ध स्नातकोत्तर महाविद्यालय, कुशीनगर में एक विशिष्ट व्याख्यान एवं निबंध प्रतियोगिता का आयोजन रविवार की शाम किया गया। व्याख्यान में बतौर मुख्य अतिथि डॉ. उमाशंकर त्रिपाठी ने छात्रों को अबुल कलाम के जीवन एवं योगदान की जानकारी दी। पहले शिक्षा मंत्री के रूप में उनके योगदान पर चर्चा करते हुए बताया कि देश में आइआइटी तथा यूजीसी को स्थापित करने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही। मुफ्त प्राथमिक शिक्षा की अवधारणा भी उन्होंने रखी। अध्यक्षता कर रहे प्राचार्य डा. अमृतांशु शुक्ल ने अब्दुल कलाम की शिक्षा नीतियों को विस्तारपूर्वक बताया। कार्यक्रम संयोजक डा. सीमा त्रिपाठी ने कहा कि शिक्षा के बिना जीवन ही अधूरा है। शिक्षा व्यक्ति व समाज को सही दिशा देने का कार्य करती है। इस अवसर पर स्वतंत्रता संग्राम में अबुल कलाम का योगदान विषयक निबंध प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इसमें 30 विद्याíथयों ने प्रतिभाग किया, जिसमें प्रथम, द्वितीय एवम तृतीय स्थान क्रमश: वाल्मीकि चौहान, बलिराम प्रसाद गौड़ तथा विवेक ¨सह ने प्राप्त किया। संचालन डॉ गौरव तिवारी ने किया । स्वागत डॉ. सत्यप्रकाश ने तथा धन्यवाद ज्ञापन सत्येंद्र मिश्र ने किया।