बॉक्सिंग प्रशिक्षण लेकर गुरु की पहचान बने विवेक
जिले में खेलकूद को लेकर कुछ साल से युवाओं का रुझान बढ़ा है। इसके पीछे मुख्य कारण स्ट
जिले में खेलकूद को लेकर कुछ साल से युवाओं का रुझान बढ़ा है। इसके पीछे मुख्य कारण स्टेडियम में बेहतर कोच हैं। उनकी मेहनत और लगन के सार्थक परिणाम आ रहे हैं। खिलाड़ी सोने और चांदी के मेडल जीतकर अपने गुरु का नाम रोशन कर रहे हैं। बॉक्सिग कोच अभिज्ञान मालवीय के शिष्य विवेक यादव ने रिकार्ड बनाए हैं। उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर सब जूनियर वर्ग में दो बार गोल्ड जीता। अब वह सीनियर वर्ग की प्रतियोगिता के लिए तैयारी कर रहे हैं।
जिला स्टेडियम में तैनात बॉक्सिग कोच अभिज्ञान मालवीय खिलाड़ियों को प्रशिक्षण दे रहे हैं। लेकिन, करारी निवासी उनके शिष्य विवेक यादव उनकी पहचान बन गए हैं। विवेक वर्ष 2012 से बॉक्सिग का प्रशिक्षण ले रहे हैं। बेहतर तालीम का परिणाम रहा कि इन दिनों राष्ट्रीय स्तर की खेल की तैयारी में लगे हैं। प्रदेश स्तर की प्रतियोगिता में भी सफलता प्राप्त की। विवेक की मानें तो शुरुआत में उन्हें ऐसा प्रशिक्षण मिला की हौसले बुलंद हो गए। कोच अभिज्ञान मालवीय ने तैयारी कराई। वर्ष 2013 में भटिंडा में राष्ट्रीय स्तर पर सब जूनियर वर्ग में विवेक ने स्कूल मेडल प्रतियोगिता में गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इसके अलावा वर्ष 2017 में चेन्नई में यूथ नेशनल प्रतियोगिता में भी गोल्ड मेडल जीता। वर्ष 2018 में उन्होंने सीनियर वर्ग के लिए प्रतिभाग किया। प्रदेश स्तर पर कई कड़े मुकाबले के बाद उन्हें मुरादाबाद में हुए मुकाबले में सिल्वर मेडल पाकर ही संतोष करना पड़ा। इन दिनों वह ऑनलाइन तरीके से राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने की तैयारी में जुटे हैं। कोच अभिज्ञान मालवीय हर कदम पर उनकी सहायता करते हैं।