भरवारी में कोयला लदी मालगाड़ी में लगी आग
संसू चरवा (कौशांबी) दिल्ली-हावड़ा रेल मार्ग के कानपुर-इलाहाबाद रेलखंड में गुरुवार की सुबह ओडीसा से पंजाब जा रही कोयला लदी मालगाड़ी के दो डिब्बों में आग लग गई। तेज धुआं उठता देख लोको पायलट ने मालगाड़ी सैयद सरावां रेलवे स्टेशन में रोकी। फायर ब्रिगेड कर्मियों की मदद से आग पर काबू पाते हुए करीब एक घंटे बाद मालगाड़ी को लूप लाइन से आगे के लिए रवाना किया। इस बीच अन्य ट्रेनों को मेन लाइन से निकलवाया गया।
संसू, चरवा (कौशांबी) : दिल्ली-हावड़ा रेल मार्ग के कानपुर-इलाहाबाद रेलखंड में गुरुवार की सुबह ओडीसा से पंजाब जा रही कोयला लदी मालगाड़ी के दो डिब्बों में आग लग गई। तेज धुआं उठता देख लोको पायलट ने मालगाड़ी सैयद सरावां रेलवे स्टेशन में रोकी। फायर ब्रिगेड कर्मियों की मदद से आग पर काबू पाते हुए करीब एक घंटे बाद मालगाड़ी को लूप लाइन से आगे के लिए रवाना किया। इस बीच अन्य ट्रेनों को मेन लाइन से निकलवाया गया।
ओडीसा से एमटीएसएस-बीआरजेएन मालगाड़ी में कोयला लादकर पंजाब ले जाया जा रहा था। अप लाइन पर आ रही मालगाड़ी के डिब्बे में कुछ लोगों ने तेज धुआं उठता देखा तो होश उड़ गए। इसकी सूचना रेलवे विभाग के स्टेशन मास्टर को दी। वहीं लोको पायलट ने मालगाड़ी को 10 बजकर 35 मिनट पर सैयद सरावां रेलवे स्टेशन के लूप लाइन पर रोका। सूचना पर पहुंचे फायर ब्रिगेड कर्मियों ने काफी प्रयास के बाद दो डिब्बों में लगी आग को बुझाया। स्टेशन मास्टर उदयभान ने बताया कि मालगाड़ी में आग लगने का कारण स्पष्ट नहीं हो पाया है। माना जा रहा है कि अधिक तापमान से कोयला में आग लगी है। मालगाड़ी को लूप लाइन से रवाना किया गया इस दौरान परिचालन प्रभावित नहीं रहा। आग लगने से मारुति वैन हुई राख
संसू, भरवारी : कोखराज थाना क्षेत्र के भरवारी कस्बे में शार्ट-सर्किट के बाद मारुति वैन में आग लग गई। इससे पूरी गाड़ी धू-धू कर जल गई। लोगों ने काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया।
भरवारी कस्बा निवासी प्रवेश केसरवानी इलेक्ट्रानिक सामान के व्यवसायी है। उनके पास मारुति वैन है। गुरुवार की सुबह करीब साढ़े नौ बजे उनका ड्राइवर धनंजय निवासी असवां मारुति वैन लेकर कहीं जा रहा था। कुछ देर के लिए उसने मारुति वैन भवंस मेहता डिग्री कॉलेज के सामने खड़ी कर दी। आग लगी देख आसपास रहे लोगों के होश उड़ गए। लोगों ने आग बुझाने का प्रयास किया लेकिन पूरी गाड़ी लपटों में घिर गई। काफी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया गया लेकिन तब तक पूरी मारुति राख हो चुकी थी।