हंगामे के बीच साध्वी सतरूपा बनीं अखंड शिवधाम आश्रम की महंत
संपत्तियों को लेकर शुरू हुआ विवाद और बढ़ा।
जेएनएन, बिठूर : लवकुश नगर स्थित अखंड शिवधाम आश्रम के प्रमुख स्वामी स्वयं प्रकाशानंद जी के ब्रह्मालीन होने के बाद ट्रस्ट की संपत्तियों को लेकर शुरू हुआ विवाद और बढ़ गया है। खुद को आश्रम ट्रस्ट का अध्यक्ष बता रहीं डॉ. रेनू तिवारी ने जहां साध्वी सतरूपा का पट्टाभिषेक करा दिया वहीं स्वामी स्वयं प्रकाशानंद जी के शिष्य ब्रजानंद अवधूत ने महिला को महंत बनाने को आश्रम परंपरा के विरुद्ध बताया। पुलिस ने दोनों पक्षों के 12 लोगों को मुचलके पर पाबंद किया। हालांकि शाम को स्वामी ब्रजानंद के लिए आश्रम में दो कमरों का दरवाजा खोल दिया गया, फिर भी विवाद अभी शांत नहीं हुआ है।
डॉ. रेनू निगम ने खुद को आश्रम ट्रस्ट का अध्यक्ष होने का दावा किया है तो महामंडलेश्वर स्वामी दिव्यानंद खुद को ट्रस्ट का प्रमुख बता रहे हैं। इस बात को लेकर स्वामी स्वयं प्रकाशानंद के शिष्य ब्रजानंद अवधूत और रेनू तिवारी के बीच विवाद शुरू हो गया। ब्रजानंद अवधूत ने दावा किया था श्री अखंड शिवधाम स्वामी स्वयं प्रकाशानंद आश्रम ट्रस्ट के अध्यक्ष महामंडलेश्वर दिव्यानंद गिरि हैं और वह ही तय करेंगे कि कौन महंत होगा। उधर खुद को ट्रस्ट अध्यक्ष बता रहीं रेनू तिवारी के आमंत्रण पर महामंडलेश्वर स्वामी श्रीकृष्ण दास, महामंडलेश्वर स्वामी विनय स्वरूपानंद सरस्वती, उदितानंद ब्रह्माचारी, बालयोगी अरुण पुरी चैतन्य और आशुतोष गिरि ने साध्वी सतरूपा को महंत बना दिया। खास बात यह कि पट्टाभिषेक का समारोह जब चल रहा तो पुलिस मौजूद थी। एसीपी कल्याणपुर दिनेश शुक्ला ने बताया पुलिस को आश्रम के अंदर समारोह की जानकारी नहीं मिली। दोनों पक्षों को दो से पांच लाख रुपये तक के मुचलके से पाबंद कर दिया गया है। एक पक्ष से डॉ. रेनू तिवारी, रंजीत कुमार, विजय कुमार, शिखर और दूसरे पक्ष से स्वामी ब्रजानंद अवधूत, नरेश सिंह तोमर, राम अभिषेक द्विवेदी, अनुज मिश्रा, राघव दीक्षित, सचिन द्विवेदी, गणेश शुक्ला, सार्थक द्विवेदी के खिलाफ कार्रवाई की गई। एसीपी ने बताया कि अगर विवाद बढ़ता है तो आरोपितों से मुचलके की राशि वसूल की जाएगी।
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ट्रस्ट की अध्यक्ष होने के नाते साध्वी सतरूपा को महंत बनाया है। कोई अविवाहित ही आश्रम का महंत हो सकता है और सतरूपा जी अविवाहित हैं। ब्रजानंद जी द्वारा गलत तरीके से विरोध किया जा रहा है।
डॉ. रेनू निगम
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परंपरा के विरुद्ध आश्रम में महिला महंत की तैनाती की गई। रेनू तिवारी द्वारा खुद को गलत तरीके से ट्रस्ट का अध्यक्ष बताया जा रहा है। ट्रस्ट के अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी दिव्यानंद गिरि जी हैं वह जिसे चाहें महंत बनाएं।
स्वामी ब्रजानंद अवधूत
साध्वी को महंत बनाने के लिए पट्टाभिषेक करने के लिए बुलाया गया था। उन्हें सर्वसम्मति से महंत बनाने की जानकारी आई थी। इसलिए विधि विधान से उन्हें महंत बनाया गया। किसी तरह के विवाद की जानकारी नहीं थी।
महामंडलेश्वर स्वामी विनय स्वरूपानंद सरस्वती
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श्री अखंड शिवधाम स्वामी प्रकाशानंद ट्रस्ट का प्रमुख होने के नाते यही कहूंगा कि ट्रस्ट ही किसी को महंत बनाएगा। साध्वी सतरूपा को महंत नहीं बनाया जा सकता है। जिन संतों से पट्टाभिषेक कराया गया है उनसे भी बात करूंगा।
महामंडलेश्वर दिव्यानंद जी महाराज नामजद मुकदमा न कराने वाले लिपिक का डिमोशन, कानपुर : हिदूपुर गांव निवासी एक व्यक्ति की भूमि से जुड़े राजस्व अभिलेख में दर्ज नाम को मिटाकर स्याही से गलत नाम चढ़ाने वाले कर्मचारियों के विरुद्ध नामजद मुकदमा दर्ज कराने के बजाय अज्ञात पर मुकदमा कराना वरिष्ठ लिपिक जय नारायन दीक्षित को भारी पड़ गया। एसीएम पांच की जांच में दोषी पाए जाने पर डीएम आलोक तिवारी ने जय नारायन दीक्षित का डिमोशन कर दिया। आरोपित लिपिक वर्तमान में बिल्हौर तहसील कार्यालय में तैनात है। दो साल पहले तत्कालीन डीएम विजय विश्वास पंत से हिदूपुर गांव निवासी एक व्यक्ति ने शिकायत की थी कि राजस्व अभिलेख से छेड़छाड़ की गई है। उनके नाम को मिटा दिया गया है और स्याही से किसी और का नाम दर्ज कर दिया गया है। डीएम ने मामले की जांच कराई तो पीड़ित की शिकायत सही निकली। राजस्व अभिलेख को दुरुस्त कराने के साथ ही डीएम ने तत्कालीन एडीएम वित्त एवं राजस्व से दोषी कर्मचारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने के लिए कहा। एडीएम वित्त ने मालखाने में तैनात जयनारायन दीक्षित को आदेश दिया। आरोप है कि उनके आदेश के बाद भी जयनारायन दीक्षित ने नामजद करने के बजाय अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज करा दिया। स्कूल की वेबसाइट पर होगा फीस का ब्योरा, कानपुर: स्कूल संचालकों को स्कूल की वेबसाइट पर फीस का पूरा ब्योरा अपलोड करने के निर्देश सीबीएसई ने दिए हैं। अगर जानकारी गलत होती है तो अभिभावक बोर्ड से शिकायत कर सकते हैं। सीबीएसई के सिटी कोआर्डिनेटर बलविदर सिंह ने बताया कि सभी स्कूल फौरन अपनी वेबसाइट पर फीस का ब्योरा अपलोड कर दें व सरकार द्वारा तय किए गए फीस संबंधी मानकों का भी पालन करें। ऑनलाइन पढ़ीं कविताएं, कई देशों में श्रोताओं ने सुनीं, कानपुर: कोरोना महामारी के चलते ज्यादातर आयोजन वर्चुअल ही हो रहे हैं। इसी कड़ी में राजस्थानी विग ऑफ इंडियन सोशल क्लब, सलालाह (ओमान) की ओर से जब वर्चुअल कवि सम्मेलन हुआ तो कवियों ने ऑनलाइन कविताओं के पाठ से सभी का दिल जीता। कई देशों के श्रोता एक साथ इस ऑनलाइन मंच पर जुड़े रहे और, वाह-वाह की आवाज से कवियों का हौसला बढ़ाते रहे। उद्घाटन करते हुये विदेश मंत्रालय के आला अधिकारी अमरा राम गुजर ने कहा कोरोना महामारी के इस दौर में ये कविताएं श्रोताओं की इम्युनिटी बढ़ाने में मदद करेंगी। कवि सम्मेलन की अध्यक्षता कर रहे कवि डॉ. सुरेश अवस्थी ने हास्य व्यंग्य के साथ भरतीय संस्कृति और संस्कारों पर आधारित कविताओं की प्रस्तुति दी। उनके अलावा कवयित्री अन्वेषा श्रीवास्तव, कवि पंकज अजय अंजाम समेत कई अन्य कवियों ने अपनी कविताओं से सभी को प्रसन्न कर दिया।