CAA Protest In Kanpur : बवाल के पीछे किसका हाथ, तीन दिन में 15 मुकदमे, सामने आए चौंकाने वाले साक्ष्य
शहर में अराजकता फैलाने के लिए बाहर से लोग लाए गए।
कानपुर, जेएनएन। यतीमखाना और बाबूपुरवा में हुई हिंसा में कानपुर के बाहर के लोग भी शामिल हैं। कुछ दूसरे जिलों से हैं तो कुछ दूसरे प्रदेशों से भी आए हैं। इन्हीं लोगों ने स्थानीय लोगों को उपद्रव करने के लिए भड़काया। इस जानकारी के बाद पुलिस चौकन्ना हो गई है और पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि ये लोग कौन हैं और कहां ठहरे हैं। वहीं दूसरी पुलिस ने तीन दिन में 15 मुकदमे दर्ज किए है, जिसमें करीब 21500 लोग आरोपित हैं। इनमें अबतक 13 लोगों को गिरफ्तार करके जेल भेजा गया है।
भीड़ को भड़काने में सिमी और एआइएमआइएम के सदस्यों का हाथ
दो दिन लगातार ङ्क्षहसा के बाद जो साक्ष्य पुलिस को मिले हैं, वह बेहद चौकाने वाले हैं। एसएसपी अनंतदेव के मुताबिक सूचना मिली है कि नमाज के बाद भीड़ को भड़काने के लिए सिमी, ऑल इंडिया मजलिस-ए इत्तेहादुल मुस्लमीन (एआइएमआइएम) से जुड़े सदस्यों का हाथ होने की पुख्ता सूचना है। इसके अलावा केरल के एक इस्लामी संगठन का नाम भी सामने आ रहा है। इनपुट मिला है कि शहर में अराजकता फैलाने के लिए बाहर से लोग लाए गए। 13 से 18 वर्ष के किशोरों को भी बाहर से लाया गया ताकि पुलिस के सामने ढाल बनाकर उपद्रव किया जा सके।
मुकदमों में 21 हजार लोग आरोपित
उपद्रव और विरोध प्रदर्शन में अब तक विभिन्न थानों में 15 मुकदमे दर्ज किए गए हैं। इसमें 21 हजार से ज्यादा लोग आरोपित बनाए गए हैं। बाबूपुरवा और बेकनगंज में 12 लोगों को जेल भेजा गया, जबकि एक बुजुर्ग को थाने से जमानत दी गई। बिल्हौर में भी एक आरोपित को जेल भेज दिया गया। पुलिस करीब 50 अन्य संदिग्धों से भी थानों में पूछताछ कर रही है। गिरफ्तारी के बाद बलवाइयों पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (रासुका) की कार्रवाई भी होगी।
सबसे पहला मुकदमा बाबूपुरवा थाने में दर्ज किया गया। इसमें आठ लोगों को नामजद कर पांच हजार अज्ञात लोगों के खिलाफ बलवा, कातिलाना हमला, 7 क्रिमिनल लॉ अमेंडमेंट एक्ट जैसी गंभीर धाराएं लगाई गईं। इसके अलावा चकेरी व कोतवाली में दो-दो, फीलखाना, बादशाहीनाका, रेलबाजार, कर्नलगंज, ग्वालटोली, बिल्हौर, नौबस्ता, अनवरगंज व चमनगंज में एक-एक मुकदमे लिखे गए। बेकनगंज में 20 दिसंबर को पथराव, तोडफ़ोड़ व अगले दिन 21 दिसंबर को पथराव, आगजनी, कातिलाना हमला करने व 7 क्रिमिनल लॉ अमेंडमेंट एक्ट आदि धाराओं में दो मुकदमे दर्ज कराए गए।
एसपी पूर्वी राजकुमार अग्र्रवाल ने बताया कि सभी स्थानों पर प्रदर्शन व हिंसा करने वालों की वीडियो रिकॉर्डिंग कराई गई है। क्षेत्रीय लोगों की मदद से पहचान की जा रही है। जल्द ही पुलिस की विशेष टीमें बनाकर कार्रवाई कराई जाएगी। गिरफ्तार आरोपितों पर रासुका की कार्रवाई होगी।
एस-10 सदस्यों से ली जाएगी मदद
उपद्रवियों की पहचान करने के लिए पुलिस थानों के एस-10 (संभ्रांत 10) सदस्यों की भी मदद लेगी। रविवार को अधिकारियों ने उनसे वार्ता की। हालांकि वीडियो फुटेज अभी नहीं दिखाई गई है। पुलिस अधिकारी माहौल को देखते हुए ही आगे की रणनीति बना रहे हैं।