विद्युत परिषद इंटर कालेज के प्रधानाचार्य ज्ञान सिंह सहायक अध्यापक पर पदावनत, सात पदोन्नति देकर अभियंता भी फंसे
विद्युत परिषद इंटर कालेज पनकी में प्रवक्ता के स्वीकृत पदों से ज्यादा पदोन्नति करने पर जांच हुई थी । विद्युत उत्पादन निगम ने अधीक्षण को अधिशासी अभियंता व कार्यवाहक प्रधानाचार्य को सहायक अध्यापक बना दिया गया है ।
कानपुर, जागरण संवाददाता। पनकी स्थित पावर हाउस से संबद्ध विद्युत परिषद इंटर कालेज के कार्यवाहक प्रधानाचार्य और तत्कालीन अधीक्षण अभियंता की मुश्किलें अब और बढ़ गई हैं। उप्र राज्य विद्युत उत्पादन निगम के अध्यक्ष एम देवराज ने जांच रिपोर्ट के आधार पर दोनों पदावनत करने का आदेश जारी किया है। अब तत्कालीन अधीक्षण अभियंता डीवी पाल को अधिशासी अभियंता और कार्यवाहक प्रधानाचार्य ज्ञान सिंह को सहायक अध्यापक बनाया गया है। प्रवक्ता के स्वीकृत पदों से अधिक पर पदोन्नति करने के मामले में उन्हें दोषी पाया गया है।
कानपुर के पनकी में तापीय विद्युत गृह के अधीन विद्युत परिषद इंटर कालेज है, कालेज में स्वीकृत छह प्रवक्ता पदों में 50 फीसद प्रोन्नति कोटा तय है। इस तरह तीन पदों के सापेक्ष आठ प्रवक्ता कार्यरत हैं। पनकी तापीय परियोजना के कार्यालय ने सात प्रवक्ता पदों पर प्रोन्नति का पत्र एक फरवरी, 2018 को जारी किया था। निर्धारित कोटे से चार अधिक प्रोन्नति को लेकर उप्र राज्य विद्युत उत्पादन निगम ने वर्ष 2019 में जांच बिठा दी थी। जांच समिति ने तत्कालीन अधीक्षण अभियंता व प्रबंधक विद्युत परिषद इंटर कालेज को प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए स्पष्टीकरण तलब किया था।
इसके बाद तत्कालीन मुख्य अभियंता वाणिज्य उप्र. राज्य विद्युत उत्पादन निगम को विस्तृत जांच के लिए नामित किया गया। जांच में तत्कालीन अधीक्षण अभियंता डीवी पाल व कालेज के प्रबंधक को आरोपित किया गया। अधीक्षण अभियंता पर किसी पद पर प्रोन्नति से पहले सापेक्ष पदों की संख्या, सीधी भर्ती तथा प्रोन्नति के माध्यम से पद भरने का अनुपात की जानकारी निगम मुख्यालय को नहीं देने का आरोप लगा। डीवी पाल ने अधीक्षण अभियंता मुख्यालय को जानकारी दिए बिना ही कार्यवाहक प्रधानाचार्य ज्ञान सिंह द्वारा उपलब्ध प्रपत्रों एवं विवरणों के आधार पर प्रवक्ता पद पर प्रोन्नति का अनुमोदन करा लिया और मुख्यालय से पत्राचार भी नहीं किया।
उप्र राज्य विद्युत उत्पादन निगम लिमिटेड मुख्यालय को डीवी पाल के खिलाफ जांच रिपोर्ट दी गई। इसपर उप्र सरकारी सेवक आचरण नियमावली के उल्लंघन पर डीवी पाल को अधीक्षण से अधिशासी अभियंता के पद पर पदानवत किया गया और पद के वेतन के निम्नतर क्रम पर करने का भी आदेश किया है। कार्यवाहक प्रधानाचार्य को लेक्चरर पद से सहायक अध्यापक बनाने का आदेश है। पनकी पावर हाउस के महाप्रबंधक आरपी सक्सेना ने बताया कि पावर हाउस के अधीक्षण अभियंता ही कालेज प्रबंधन में होते हैं, लेकिन इस प्रकरण के बारे में जानकारी नहीं है।