सुरक्षा की दृष्टि से बंद कराया गया 146 साल पुराना गंगापुल, IIT Experts करेंगे क्षतिग्रस्त पिलर की जांच
Shuklaganj Ganga Bridge News वर्ष 1875 ब्रिटिश शासन में बने पुराने शुक्लागंज पुल की मियाद 100 वर्ष थी लेकिन मियाद खत्म होने के बाद भी इसमें अभी तक आवागमन हो रहा है। वाहनों के दबाव से चार पाइलों में दरारें आ गईं।
कानपुर, जेएनएन। Shuklaganj Ganga Bridge News शुक्लागंज को कानपुर से जोडऩे वाला पुराना गंगापुल अनिश्चित काल के लिए बंद कर दिया गया है। पुल के चार पिलर में दरार आने के बाद सोमवार को कानपुर और उन्नाव के जिला प्रशासन ने मंत्रणा के बाद पुल पर आवागमन बंद करने का फैसला किया, जिसके बाद पुल को कानपुर सीमा की ओर से रात 11:30 पर और उन्नाव सीमा की ओर से रात 12:33 पर बैरीकेडिंग लगाकर बंद कर दिया गया। क्षतिग्रस्त पिलर की जांच आइआइटी के एक्सपर्ट से कराई जाएगी। वहीं, शुक्लागंज पुल पर प्रशासन के अलावा उन्नाव के एसडीएम सदर सत्यप्रीय और सीओ सिटी कृपा शंकर भी मौजूद रहे और उन्नाव छोर से पुल को बंद कर दिया गया।
ये है मामला: वर्ष 1875 ब्रिटिश शासन में बने पुराने शुक्लागंज पुल की मियाद 100 वर्ष थी, लेकिन मियाद खत्म होने के बाद भी इसमें अभी तक आवागमन हो रहा है। वाहनों के दबाव से चार पाइलों में दरारें आ गईं और जबकि कई पाइल जड़ से कमजोर हो गए हैं। इस वजह से पुल में चलना खतरे से खाली नहीं है। रविवार देर रात पीडब्ल्यूडी प्रांतीय खंड के अधिशासी अभियंता मुकेश चंद्र शर्मा की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय टीम गठित की गई थी। जांच टीम में में शामिल पीडब्ल्यूडी निर्माण खंड भवन के अधिशासी अभियंता सीपी गुप्ता व सेतु निर्माण निगम के परियोजना प्रबंधक केएन ओझा ने सोमवार सुबह सात बजे ही मौके पर पहुंचे और ढाई घंटे पुल की जांच की इसके बाद टीम के सदस्यों ने सिविल लाइंस प्रांतीय खंड कार्यालय में बैठक की और पुल में आवागमन बंद करने के लिए डीएम आलोक तिवारी और मुख्य अभियंता केसी वर्मा को पत्र लिखा। वहीं उन्नाव प्रशासन ने भी पुल की सेहत को लेकर आपात बैठक की। दोनों जनपदों के जिला प्रशासन की ओर से देर शाम पुल पर आवागमन रोकने का फैसला किया गया।
इनका ये है कहना: गंगाघाट कोतवाल अरविंद सिंह ने बताया कि सुबह कानपुर जाने वाले अन्य मार्गों पर फोर्स लगा कर ट्रैफिक डायवर्जन किया जाएगा।
कब हुई मरम्मत अभियंताओं को पता ही नहीं: पुराने शुक्लागंज पुल की मरम्मत आखिरी समय कब हुई थी। यह प्रांतीय खंड के अभियंताओं को पता ही नहीं, इससे पता चलता है कि पुलों के प्रति अभियंता कितने सजग हैं। अधिशासी अभियंता मुकेश चंद्र का कहना है कि मरम्मत के संबंध में जानकारी नहीं है।
डायवर्जन के लिए दोनों जिलों की यातायात पुलिस करेंगे बैठक: पुराना गंगापुल होने के लिए डायवर्जन किया जाएगा। इसके लिए उन्नाव और कानपुर पुलिस बैठक कर डायवर्जन तय करेगी। इसकी प्रक्रिया शुरू की गई है।