अजीब संकट है! साइबर क्राइम थाने में एफआइआर लिखने वाला कोई नहीं
कंप्यूटर ऑपरेटरों की नहीं की गई तैनाती सोमवार को कंप्यूटर ऑपरेटर व आठ पुलिसकर्मियों का हुआ तबादला शासन की ओर से जारी आदेश में थाना प्रभारी दो सब इंस्पेक्टर तीन हेड कांस्टेबल व सात सिपाहियों के पद और आउटसोर्सिंग के जरिए दो कंप्यूटर ऑपरेटरों के पद स्वीकृत किए गए
कानपुर, जेएनएन। ट्रैफिक पुलिस लाइन में बने रेंज के साइबर क्राइम थाने में एफआइआर पंजीकृत करने के लिए कोई कर्मचारी ही नहीं बचा है। आउटसोर्सिंग के माध्यम से कंप्यूटर ऑपरेटरों की भर्ती अब तक नहीं हुई है और जो कर्मचारी तैनात किए गए थे, नियतन से ज्यादा होने के चलते उनका तबादला हो गया है।
साइबर अपराधियों की धरपकड़ के लिए तीन माह पूर्व साइबर क्राइम थाना खोला गया था। यहां थाना प्रभारी के अलावा एक इंस्पेक्टर, दो सब इंस्पेक्टर, 14 सिपाहियों व सीसीटीएनएस (क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क सिस्टम) सॉफ्टवेयर पर मुकदमा लिखने के लिए एक कंप्यूटर ऑपरेटर को तैनात किया गया था। पिछले दिनों शासन की ओर से नया नियतन आदेश जारी हुआ। इसमें थाना प्रभारी, दो सब इंस्पेक्टर, तीन हेड कांस्टेबल व सात सिपाहियों के पद और आउटसोर्सिंग के जरिए दो कंप्यूटर ऑपरेटरों के पद स्वीकृत किए गए। सोमवार को एक अतिरिक्त इंस्पेक्टर, कंप्यूटर ऑपरेटर व सात सिपाहियों का तबादला हो गया। इससे सीसीटीएनएस सॉफ्टवेयर ऑपरेट करने के लिए कोई सिपाही नहीं बचा है। थाना प्रभारी जगदीश यादव ने बताया कि कंप्यूटर ऑपरेटर आने के बाद ही समस्या दूर होने की उम्मीद है।