सरकारी जमीन को कब्जामुक्त कराने की दिशा में केडीए ने भी बढ़ाए कदम
बुधवार पूर्वाह्न साढ़े 11 बजे कटरी शंकरपुर सराय पहुंचे अफसर सिंचाई विभाग के अफसरों ने बताया कि कई बार कब्जे गिराए गए लेकिन फिर 180 कब्जे हो गए हैं बिजली के लिए कंक्रीट के खंभे और बिल्डरों ने रास्ते तक बना दिए
कानपुर, जेएनएन। गंगा बैराज में सरकारी जमीन पर हुए कब्जों को मुक्त कराने के लिए अब केडीए भी सक्रिय हो गया है। मंगलवार को पुलिस विभाग द्वारा अपनी शूटिंग रेंज की जमीन मुक्त कराने के बाद बुधवार को केडीए, तहसील और सिंचाई विभाग का अमला शंकरपुर सराय कटरी पहुंचा। टीम ने तीन घंटे तक मौके पर नक्शे से एक-एक आराजी संख्या का मुआयना किया। इस दौरान मौके पर धड़ल्ले से प्लाटिंग होती मिली। वहां पर हजारों ईंटें रखी थीं। बिजली के लिए कंक्रीट के खंभे और बिल्डरों ने रास्ते तक बना दिए हैं। कई पक्के निर्माण देखकर अफसर दंग रह गए। अब केडीए प्लाटिंग हो रही जमीन को खाली कराने की तैयारी में जुट गया है। पक्के निर्माणों के लिए नोटिस दी जाएगी। वहीं सिंचाई विभाग भी 180 कब्जेदारों को नोटिस देगा तो तहसील भी अपनी जमीन खाली कराएगा।
तहसीलदार अजीत सिंह, नायब तहसीलदार चंद्र प्रकाश पांडेय की अगुवाई में केडीए, सिंचाई विभाग और तहसील की टीम बुधवार पूर्वाह्न साढ़े 11 बजे कटरी शंकरपुर सराय पहुंची। अफसरों ने बताया कि आराजी संख्या 242-243 में लोगों ने जमीन लेकर उसकी आड़ में ग्राम समाज और सिंचाई विभाग की जमीन पर कब्जा कर पक्के निर्माण कर लिए हैं। खास बात ये है कि सालों से पक्के निर्माण हो रहे हैं, पर केडीए दस्ते को नजर तक नहीं आया। आराजी संख्या 240, 498, 499, 500, 502 क व ख, 532, 535, 562, 583 जमीन का तीनों विभागों की संयुक्त टीम ने निरीक्षण किया। कानपुर की तरफ से बैराज खत्म होने के बाद बाएं तरफ केडीए की जमीन पट्टे में दे दी गई, जहां पक्के निर्माण हो गए। एनजीटी का आदेश है कि गंगा तट से सौ मीटर दूरी पर कोई भी पक्का निर्माण नहीं हो सकता है। इन सबको सिंचाई विभाग नोटिस देगा। सिंचाई विभाग के अफसरों ने बताया कि कई बार कब्जे गिराए गए, लेकिन फिर हो गए। 180 कब्जे हैं। शाम साढ़े चार बजे केडीए सचिव एसपी सिंह ने मौके पर जाकर जमीन को देखा और खाली कराने के आदेश दिए। तहसीलदार ने बताया कि केडीए व कास्तकारों की जमीन का चिह्नीकरण हुआ है। सरकारी जमीन खाली कराई जाएगी। बता दें, पुलिस विभाग ने मंगलवार को ही शूटिंग रेंज की अपनी जमीन खाली करा ली थी।