खूंखार मल्लू व गुस्सैल मालती से जल्द होगा आमना-सामना, डीएम जल्द दे सकते हैं आदेश
कोरोना संक्रमण काल में लॉकडाउन के समय बंद हुआ चिडिय़ाघर अब दर्शकों के लिए 22 सितंबर से खुल सकता है।
कानपुर, जेएनएन। कोरोना संक्रमण की वजह से बंद हुआ चिडिय़ाघर 22 सितंबर से दर्शकों के लिए खुल सकता है। कानपुर प्राणी उद्यान के सहायक निदेशक एके सिंह और अन्य अधिकारी बुधवार को डीएम से मिले, जिस पर उन्होंने इसे जल्द खोलने की इजाजत देने का आश्वासन दिया है। डीएम ने एडीएम सिटी अतुल कुमार से प्राणी उद्यान में कोरोना प्रोटोकॉल को लेकर रिपोर्ट मांगी है।
कोविड-19 के संक्रमण के चलते एहतियातन चिडिय़ाघर को बंद कर दिया गया था। इस बीच जानवरों के खाने की समस्या हुई। यहां के अधिकारियों ने शासन को पत्र लिखकर चार करोड़ 55 लाख रुपये की मांग की। जुलाई में एक करोड़ 10 लाख रुपये मिल गए। यह भी खत्म होने की कगार पर हैं। हालांकि शहर के लोगों ने अपने स्तर पर जानवरों के लिए अनाज और भोजन मुहैया कराया था।
खूंखार मल्लू और मालती होंगे आकर्षक का केंद्र
पीलीभीत के जंगल से लाए गए खूंखार बाघ मल्लू और उसकी बहन मालती आकर्षण का केंद्र होंगे। मल्लू आदमखोर है, उसने पीलीभीत में चार लोगों मार डाला था, जबकि मालती काफी गुस्सैल है। इन्हें चिडिय़ाघर में पहली बार दर्शक देख सकेंगे। मल्लू की उम्र चार साल और मालती साढ़े तीन वर्ष की है।
सीयूजीएल देगा 13 लाख रुपये की मदद
जानवरों के खाने के लिए सीयूजीएल 13 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देगा। थर्मल इंडिया कंपनी शंकर शेर के साल भर के भोजन की व्यवस्था करेगा। यह नौ लाख रुपये की मदद होगी।