Move to Jagran APP

Jagran Forum 2021 द्वितीय सत्र: संत समाज की अपील, तपोभूमि की प्राकृतिक सुंदरता को ध्यान में रखकर हो विकास

Jagran Forum 2021 चित्रकूट संत समाज के अध्यक्ष दिव्य जीवनदास महराज ने कहा कि भगवान राम इस पावन धरा पर अपने 14 वर्षों के वनवास में 12 वर्ष इसी भूमि बिताए। इससे लगता है कि इस माटी के हर कण में भगवान विद्यमान हैं।

By Shaswat GuptaEdited By: Published: Mon, 22 Nov 2021 07:19 PM (IST)Updated: Mon, 22 Nov 2021 07:19 PM (IST)
Jagran Forum 2021 द्वितीय सत्र: संत समाज की अपील, तपोभूमि की प्राकृतिक सुंदरता को ध्यान में रखकर हो विकास
Jagran Forum 2021 दैनिक जागरण द्वारा आयोजित विमर्श कार्यक्रम - चित्रकूट : नई गाथा।

चित्रकूट, [अजय दीक्षित]। Jagran Forum 2021 आस्था व अध्यात्म की नगरी चित्रकूट की गाथा देश-दुनिया में गूंज रही है। हालांकि इस नगरी के धार्मिक महत्ता वाले स्थलों का अपेक्षित विकास न होने का दर्द भी अध्यात्म जगत की हस्तियों में झलका। प्रबुद्धजन की एक राय यह भी है कि तपोभूमि के स्थलों का विकास तो हो लेकिन, प्राकृतिक सौंदर्य के साथ किसी तरह की छेड़छाड़ नहीं हो। जागरण विमर्श में 'चित्रकूट आस्था, आध्यात्म और धार्मिक पर्यटनÓ विषय पर वक्ताओं ने मुखर होकर अपनी राय रखी।

loksabha election banner

यह भी पढ़ें: जागरण विमर्श में बोले जगद्गुरु स्वामी रामभद्राचार्य - 'मामा' नहीं, योगी ही करेंगे चित्रकूट का विकास

चित्रकूट संत समाज के अध्यक्ष दिव्य जीवनदास महराज ने कहा कि भगवान राम ने अपने 14 वर्षों के वनवास में 12 वर्ष इस पावन धरा पर बिताए। इससे लगता है कि इस माटी के हर कण में भगवान विद्यमान हैं। इस धरा पर भगवान भी आने को तरसते हैं। उन्होंने संत समाज की ओर से यह सुझाव दिया कि यहां के पर्यटन स्थलों को विश्व पटल पर लाया  जाना चाहिए। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए रिंग रोड की आवश्यकता जताई।

यह भी पढ़ें: Jagran Forum 2021 प्रथम सत्र: चित्रकूट को पर्यटन हब बनाने की तैयारी, 2024 तक हर घर में होगा नल

कहा कि इसके माध्यम से सभी धार्मिक स्थलों का दर्शन सुगमता से संभव हो सकेगा। 84 कोसी परिक्रमा स्थल में आने वाले कुछ धार्मिक स्थलों का परिसीमन आवश्यक है।

यह भी पढ़ें: Jagran Forum 2021 तृतीय सत्र: प्रबुद्धजन ने माना- सरकार का काम सराहनीय, पूरा हो रहा नानाजी देशमुख का सपना

चर्चा को आगे बढ़ाते हुए महर्षि वाल्मीकि आश्रम आश्रम लालापुर चित्रकूट के महंत भरतदास महराज ने कहा कि दैनिक जागरण ने चित्रकूट में विकास कार्यों को बढ़ावा देने के लिए अपनी भूमिका का निर्वहन ईमानदारी से किया है। उन्होंने रामचरित मानस के रचयिता तुलसीदास की जन्मस्थली राजापुर के विकास की बात कही। कहा कि कामदगिरि में अतिक्रमण न हो और इसका आध्यात्मिक स्वरूप बना रहे।

यह भी पढ़ें: Jagran Forum 2021 चतुर्थ सत्र: चित्रकूट में डकैतों और आतंक का हुआ अंत, अब पाठा लिख रहा विकास की पटकथा

जागरण विमर्श का हिस्सा बने सद्गुरु नेत्र चिकित्सालय के डा. वीके जैन ने आने वाले श्रद्धालुओं के लिए शेड व शौचालय बनाने की मांग रखी। कहा कि विकास ऐसा हो जिससे प्राकृतिक सौंदर्य को किसी प्रकार का नुकसान न हो। दिव्यांग विश्वविद्यालय के कुलपति डा. योगेश ने कहा कि मुझे पुराना चित्रकूट लौटा दो। विकास के नाम पर पुराने झरने, पहाड़ और नदियों के साथ किसी प्रकार की छेड़छाड़ न की जाए। उन्होंने कहा कि यह राम की कर्मभूमि है, राम ने यहां रहते हुए रावण के अंत का संकल्प लिया था। मंदाकिनी में जाने वाली गंदगी को रोकने की जरूरत है, इसका चिंतन करना चाहिए। आस्था के साथ धार्मिक पर्यटन को गति मिले, ऐसे प्रयास निरंतर होने चाहिए।

यह भी पढ़ें: चित्रकूट की प्रबुद्ध जनता ने सुखद कल के लिए जागरण विमर्श में रखे सुझाव, इन सवालों पर अधिकारियों ने दिया जवाब


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.