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नियमों को लेकर ऊहा-पोह में उद्यमी, बोले-घोषणा पत्र का लाभ तभी जब समय से मिले स्वीकृति

उद्यमियों के घोषणा पत्र देने के तीन दिन के अंदर प्रक्रिया पूरी करने के निर्देश हैं।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Published: Wed, 06 May 2020 03:59 PM (IST)Updated: Wed, 06 May 2020 03:59 PM (IST)
नियमों को लेकर ऊहा-पोह में उद्यमी, बोले-घोषणा पत्र का लाभ तभी जब समय से मिले स्वीकृति
नियमों को लेकर ऊहा-पोह में उद्यमी, बोले-घोषणा पत्र का लाभ तभी जब समय से मिले स्वीकृति

कानपुर, जेएनएन। लाॅकडाउन के बीच रेडजोन में औद्योगिक इकाइयां चलाने के लिए स्वीकृति मिलने से खुश उद्यमी नियमों को लेकर ऊहापोह में हैं। उद्योग की गाड़ी पटरी पर तभी आना संभव होगा जब घोषणा पत्र की शर्त का निस्तारण समय से हो सकेगा। उद्यमियों के घोषणा पत्र देने का निस्तारण तीन दिन के अंदर जिला प्रशासन को करने के आदेश हैं, यदि इससे अधिक समय लगा तो पटरी पर आने में देर लगेगी।

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क्यों देना होगा घोषणा पत्र

रेडजोन में उद्योग शुरू करने के लिए मुख्य सचिव के नए आदेश से उद्यमियों को कुछ आस बंधी है। कोरोना संक्रमण के कारण शहर रेड जोन में है, इसलिए यहां उद्योग शुरू करने के घोषणा पत्र का नियम लागू किया गया है। इसके अंतर्गत उद्यमियों को उद्योग शुरू करने के लिए घोषणा पत्र देना होगा। शहर में ऐसी कई औद्योगिक इकाइयां हैं, जो इस दायरे में आती हैं।

जिला प्रशासन व उद्योग विभाग की तैयारी पूरी

रेड जोन में उद्योग संचालित कराने के लिए जिला प्रशासन व उद्योग विभाग ने तैयारी पूरी कर ली है। उद्यमियों द्वारा दिये जाने वाले घोषणा पत्र के आधार पर जांच करने के लिए टीम बनाई जा रही है। सुरक्षा के साथ स्टील, रबर, प्लास्टिक, टेक्सटाइल व होजरी समेत अन्य उत्पादों की औद्योगिक इकाइयां चलें, इसे सुनिश्चित किया जा रहा है। शहर में 18 हजार से अधिक औद्योगिक इकाइयां स्थापित हैं।

जानें-क्या कहते हैं उद्यमी और पदाधिकारी

  • औद्योगिक इकाइयां चलना अब बहुत जरूरी हो गया है, उद्यमी आर्थिक नुकसान में किसी तरह बस काम चला रहे हैं। घोषणा पत्र के साथ उद्योग चलाने के लिए उद्यमी तैयार हैं। इसका लाभ उद्यमियों को तभी मिलेगा जब तय समय सीमा के अंदर इसपर निर्णय हो। -आलोक अग्रवाल, इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के कानपुर चेयरमैन
  • काम पूरी तरह बंद हो चुका है और बाजार पर भी इसका प्रभाव पड़ने लगा है। घोषणा पत्र के साथ औद्योगिक इकाइयां शुरू करने की पहल अच्छी है। बशर्ते घोषणा पत्र देने के बाद स्वीकृति समय पर मिले, इसके लिए ठोस योजना बनाई जानी चाहिए। -अमिताभ तिवारी, प्रांविशियल इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के मंडल अध्यक्ष
  • उद्यमियों के हित में घोषणा पत्र की व्यवस्था गई है। संक्रमण से बचाव के साथ औद्योगिक इकाइयां चलें यह सभी चाहते हैं। आर्थिक संकट दूर करने के साथ स्वास्थ्य का ख्याल रखना भी जरूरी है। -मिथलेश कुमार गुप्ता, अध्यक्ष दाल मिल एसोसिएशन

अफसरों ने कही ये बात

-उद्यमियों को निश्चित प्रारूप में इकाइयां शुरू करने की स्वीकृति लेनी होगी। घोषणा पत्र में उन्हें बताना होगा कि कोरोना संक्रमण से सुरक्षा के मानकों का ख्याल वह किस प्रकार से रखेंगे। घोषणा पत्र के देने के बाद इकाइयों की बाकायदा जांच होगी, उसके बाद इंतजाम की जांच के आधार पर निर्णय लिया जाएगा। -डाॅ. ब्रह्मदेव राम तिवारी, जिलाधिकारी

-ग्रीन व ओरेंज जोन में स्थापित औद्योगिक इकाइयों को संचालित करने के लिए केवल घोषणा पत्र ही पर्याप्त रहेगा। रेड जोन की इकाइयों को घोषणा पत्र के साथ एनओसी भी देनी होगी। शासन से आए घोषणा पत्र में कुछ और महत्वपूर्ण बिंदुओं को शामिल किया जा सकता है। -सर्वेश्वर शुक्ला, संयुक्त आयुक्त उद्योग


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