सरकार यदि आपकी खातिर हर जतन कर रही है तो फिर आपको स्वयं अपने लिए भी कुछ फिक्रमंद होना ही होगा
बहुधा देखने में आता है कि त्योहार आते ही लोग बिना सुरक्षा मानकों का समुचित प्रबंध किए ही सड़कों पर हुजूम की शक्ल में नजर आने लगते हैं। इसे किसी भी दशा में उचित नहीं ठहराया जा सकता। कृपया ऐसा न करें।
कानपुर, जासं। आंकड़े यह जरूर कहते हैं कि प्रदेश में कोरोना संक्रमण के मरीजों की संख्या घट रही है, लेकिन विशेषज्ञों को आशंका है कि सर्दी के मौसम में इस महामारी का पलटवार हो सकता है। इसीलिए एहतियात बरतने पर जोर दिया जा रहा है। इस गंभीर बीमारी पर काबू पाने के लिए जरूरी है कि संक्रमण की चेन तोड़ी जाए, लेकिन ऐसा तभी हो सकता है, जबकि मरीजों की ठीक से जांच हो। इसके लिए विशेष अभियान चलाने का फैसला सरकार की गंभीरता को दर्शाता है।
अच्छी बात है कि प्रदेश में कोरोना वायरस के संक्रमण की दूसरी लहर न आए, इसे लेकर स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह अलर्ट है। शीतकाल में कोरोना के दोबारा बढ़ने की आशंका जताई जा रही है। सरकार की सराहना की जानी चाहिए कि त्योहारों को देखते हुए फैसला किया गया है कि बाजारों में होने वाली भीड़ में लापरवाही के कारण कोरोना का संक्रमण दोबारा न फैले, इसके लिए गुरुवार से 15 दिवसीय विशेष जांच अभियान चलाया जाएगा। इस अभियान के तहत स्वास्थ्य कर्मियों, बाजारों में दुकानदारों, टेंपो व रिक्शा चालकों, धार्मिक स्थलों, रेस्टोरेंट व शॉ¨पग मॉल में काम करने वाले कर्मचारियों आदि की कोरोना जांच कराई जाएगी। अभियान के दौरान दोबारा संक्रमण बढ़ने के संभावित खतरे का पता लगाया जाएगा।
अब बात आती है नैतिक दायित्व की। देखने वाली बात होगी कि कोरोना के खतरे के प्रति हम कितना सचेत हैं। विभिन्न स्तर पर यह बात कई बार दोहराई जा चुकी है कि दो गज की दूरी, मास्क और सैनिटाइजर ही कोरोना से बचाव के लिए अचूक अस्त्र हैं। इन्हें अपनी नियमित दिनचर्या में शामिल करके ही हम कोरोना का मुकाबला कर सकते हैं। बहुधा देखने में आता है कि त्योहार आते ही लोग बिना सुरक्षा मानकों का समुचित प्रबंध किए ही सड़कों पर हुजूम की शक्ल में नजर आने लगते हैं। इसे किसी भी दशा में उचित नहीं ठहराया जा सकता। कृपया ऐसा न करें। सरकार यदि आपकी खातिर हर जतन कर रही है तो फिर आपको स्वयं अपने लिए भी कुछ फिक्रमंद होना ही होगा।