Sawan 2020: सावन का सोमवार-शिवालयों में द्वार पर दर्शन कर लौटे श्रद्धालु, तस्वीरों में देखिए बाबा का श्रृंगार
कानपुर शहर में लॉकडाउन के कारण प्रमुख शिवालयों में आरती और श्रृंगार के बाद पट बंद रहे और द्वार पर ही दूध दही बेलपत्र चंदन और गंगाजल अर्पित करते रहे।
कानपुर, जेएनएन। श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की सप्तमी को पवित्र चौथा सोमवार पड़ने पर शिवालयों में सुबह आरती-पूजन के बाद पट बंद कर दिए गए। इसके बाद दर्शन के पहुंचे श्रद्धालु द्वार पर ही दूध, दही, बेलपत्र, चंदन और गंगाजल अर्पित करके लौटते रहे। इस दौरान बाबा के जयकारों से आसमान गुंजायमान होता रहा। वहीं दूसरी ओर श्रद्धालुओं ने घरों में पार्थिव शिवलिंग बनाकर पूजन किया। कुछ मंदिरों में श्रद्धालुओं के लिए ऑनलाइन पूजन, आरती व श्रृंगार दर्शन करने की व्यवस्था की गई। जागेश्वर धाम, नागेश्वर धाम, वनखंडेश्वर धाम, सिद्धनाथ धाम और बाबा आनंदेश्वर शिवालयों पुजारियों ने आरती व भोग के बाद मंदिरों के पट बंद रखे।
सावन के सोमवार को श्रद्धालुओं ने घरों में बालू और मिट्टी के शिवलिंग बनाकर दूध, दही, घृत, शहद, चंदन, गंगाजल, पुष्प व बेलपत्र आदि अर्पित कर ओम नमः शिवाय मंत्र का जाप किया। श्रद्धालुओं ने बाबा भोलेनाथ के बाद माता पार्वती का पूजन, व्रत करके सुख-समृद्धि की कामना की। बाबा आनंदेश्वर मंदिर परमट में बंद पट से ही प्रभु का पूजन श्रृंगार पुजारियों द्वारा किया गया। मंदिर प्रबंधन द्वारा बाबा की आरती व श्रृंगार को लाइव सोशल मीडिया के माध्यम से भक्तों के बीच पहुंचाकर श्रद्धालुओं को मंदिरों में आने से रोकने की व्यवस्था की गई। इस बार संक्रमण काल के चलते शहर के ज्यादातर शिवालयों में श्रद्धालुओं को लाइव पूजन व श्रृंगार के दर्शन कराने की व्यवस्था की गई।
नवाबगंज स्थित जागेश्वर महादेव मंदिर और पी रोड स्थित वन खंडेश्वर मंदिर में पूजन आरती की गई। मंहतों व प्रबंधन समिति के सदस्यों ने बाबा का पूजन कर महामारी के खत्मे की कामना की। जागेश्वर महादेव मंदिर नवाबगंज के महामंत्री प्राण श्रीवास्तव ने बताया कि बाबा की आरती कर श्रृंगार किया गया। जाजमऊ स्थित सिद्धनाथ मंदिर महादेव का पूजन पुजारियों ने विधि-विधान से किया। ज्योतिषाचार्यों के मुताबिक इस दिन पवित्र शिवलिंग पर 12 बेल पत्र पर राम नाम लिखकर चढ़ाने से समस्त इच्छाओं की पूर्ति होती है।