कानपुर में दल, जाति और वर्ग के बंधन तोड़ेगी कांग्रेस, जानिए - वार्ड अध्यक्षों को सौंपी गई इस जिम्मेदारी के बारे में
इंदिरा गांधी की मूर्ति पर माल्यार्पण करने के बाद भाजपा सपा और बसपा विचारधारा से जुड़ी विभूतियों की मूर्तियों की साफ सफाई की जाएगी। इसके बाद माल्यार्पण किया जाएगा। शहर कांग्रेस कमेटी के निवर्तमान अध्यक्ष हरप्रकाश अग्निहोत्री ने बताया कि वार्ड कांग्रेस अध्यक्षों को इसकी जिम्मेदारी दे दी गई है।
कानपुर, जेएनएन। राजनीतिक पार्टियाें के कार्यकर्ता दल, जाति और वर्ग को ध्यान में रखकर ही कोई काम करते हैं। ऐसे में पहली बार कांग्रेस इस भावना से आगे निकलकर कुछ करने जा रही है। कांग्रेस कार्यकर्ता पहली बार शहर में सभी पार्टी के महापुरुषों की मूर्तियों और शिलालेखों का सम्मान करेंगे। इसके लिए योजना तैयार कर ली गई है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने युवाओं को किया अपने पक्ष में
मालरोड, बड़ा चौराहा, चुन्नीगंज, मेस्टन रोड, हलीम चौराहा, बाबूृपुरवा समेत शहर के विभिन्न स्थानों पर महापुरुषों की मूर्तियां स्थापित हैं। प्रत्येक महापुरुष की मूर्ति पर कोई न कोई दल, जाति या समुदाय अधिकार जताता है। ऐसे राजनीतिक परिदृश्य में कह सकते हैं कि मूर्ति पर माल्यार्पण करने वाले किसी न किसी विशेष राजनीतिक दल, जाति या समुदाय से जुड़े होते हैं। पहली बार कांग्रेस ने इससे उपर उठकर शहर में 125 महापुरुषों की मूर्तियों का चयन किया है। हालांकि इसे लेकर हुई बैठक में सभी एकमत नहीं थे। कुछ की राय थी कि जब सभी अपने अपने की बात करते हैं तो हम क्यों बड़प्पन दिखाएं। वरिष्ठ कांग्रेसियों ने विरोध करने वाले युवाओं को कांग्रेस की नीति और विचारधारा बताते हुए एकमत कर लिया। जिसके बाद तय हुआ कि सबसे पहले इंदिरा गांधी की मूर्ति पर माल्यार्पण करने के बाद भाजपा, सपा और बसपा विचारधारा से जुड़ी विभूतियों की मूर्तियों की साफ सफाई की जाएगी। इसके बाद माल्यार्पण किया जाएगा। शहर कांग्रेस कमेटी के निवर्तमान अध्यक्ष हरप्रकाश अग्निहोत्री ने बताया कि वार्ड कांग्रेस अध्यक्षों को इसकी जिम्मेदारी दे दी गई है।