बिना आक्सीजन मरीजों को लेकर दौड़ रही एंबुलेंस
संवाद सूत्र, तालग्राम : मरीजों की ¨जदगी बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाली 108 एंबुलेंस व्यवस्था
संवाद सूत्र, तालग्राम : मरीजों की ¨जदगी बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाली 108 एंबुलेंस व्यवस्था इस समय दम तोड़ रही है। सुविधाओं के अभाव में मरीजों की जान जोखिम में रहती है। वहीं कर्मचारियों को मानदेय न मिलने से वह भी परेशान हैं।
सपा सरकार में यह एंबुलेंस सेवा शुरू की गई थी। इसकी वजह से दुर्घटना में घायल होने वाले मरीज समय से अस्पताल पहुंचते थे और उपचार मिल जाने से उनकी जान बच जाती थी। इस समय यह व्यवस्था बदहाल होती जा रही है। एंबुलेंस में आक्सीजन सिलेंडर रखा है लेकिन उसमें गैस नहीं है। टूल बाक्स लगा है लेकिन उसमें पट्टी व दवा आदि कुछ भी नहंी है। कर्मियों के पास ग्लब्स आदि भी नहीं हैं। इसके अलावा अक्सर गाड़ी खराब रहती है। पंचर होने पर जेक व पाना आदि भी नहंी है। इसकी मरम्मत के लिए जब फर्रुखाबाद सेंटर पर कर्मी पहुंचते हैं तो उन्हें मेंटीनेशन न होने की बात कहकर वापस कर दिया जाता है। वहंी कर्मियों को दो माह से मानदेय भी नहीं मिला है। इसकी वजह से वह परेशान भी है। वहीं कर्मी निजी संसाधनों से इसकी मरम्मत करवाकर जैसे-तैसे चला रहे हैं। इसके बावजूद माह में कम से कम एक सप्ताह तो यह खराब खड़ी रहती है। हालांकि इस बारे में ड्यूटी करने वाले कर्मी कुछ भी नहंी बोल रहे हैं। प्रभारी निरीक्षक डा. उमेश चंद्र वर्मा ने बताया कि एंबुलेंस का संचालन सीधे लखनऊ से किया जाता है। इसकी देखरेख की जिम्मेदारी भी संबंधित संस्था की है। कर्मचारियों से जानकारी की जाएगी और समस्या से संबंधित पत्र उच्चाधिकारियों को भेजा जाएगा।