बिजली विभाग का भ्रष्टाचार फोरलेन में रोड़ा
अमरोहा। पर्यावरण की मंत्रालय की एनओसी के बावजूद जोया रोड के चौड़ीकरण में बिजली विभाग रोड़ा बना हुआ है। मार्च माह में पौने तीन करोड़ रुपए खंभे हटवाने के लिए दिए जा चुके हैं, लेकिन विभाग में पनपे भ्रष्टाचार के कारण टेंडर ही नहीं हो पाए। अफसर अपने पसंदीदा ठेकेदार को ही टेंडर करने की जुगत में हैं।
शासन ने जोया-अमरोहा मार्ग को फोरलेन बनाए जाने को मंजूरी प्रदान की थी, इस पर करीब 24 करोड़ रुपये खर्च होने हैं। फोरलेन के बीच में आ रहे खंभों को हटाने के लिए करीब पौने तीन करोड़ रुपए लोक निर्माण विभाग, वन विभाग को अदा कर चुका है। दस महीने को होने को हैं लेकिन बिजली विभाग ने खंभे नहीं हटाए। इधर, मध्य दिसंबर से लोनिवि ने काम शुरू कर दिया। कंकरीट बिछाए जाने का काम पूरा हो चुका है, मगर अब खंभे बाधा बन रहे हैं। लोनिवि के अधिशासी अभियंता अजय गोयल कई पत्र भी लिख चुके हैं लेकिन बिजली विभाग कुछ सुन ही नहीं रहा।
खंभे हटाए बिना यदि सड़क बना दी गयी और खंभे बाद में हटाए गए तो पूरी सड़क खराब होना तय है। इससे बड़ा नुकसान होगा। सूत्र बताते हैं कि बिजली विभाग का भ्रष्टाचार इसमें रोड़ा बना हुआ है। अफसर अपने पसंदीदा ठेकेदार को ही टेंडर देना चाह रहे हैं, इसी में वे मामले को लटकाएं हैं, ताकि जल्दबाजी में उनका काम आसान हो जाए। प्रक्रिया तेज करने के बजाए अधीक्षण अभियंता ने उल्टे लोक निर्माण विभाग को पत्र लिखा है कि जब तक खंभे न हटें तब तक सड़क न बनाई जाए, यानी पूरी तरह खुलकर विभाग व अफसर इसमें बाधा बन रहे हैं।
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कई बार रिमाइंडर भेजे जाने के बाद भी न तो वन विभाग द्वारा पेड़ काटे जा रहे हैं और न बिजली विभाग द्वारा ही पोल शिफ्टिंग का काम शुरू किया गया है, लिहाजा चौड़ीकरण का काम पूरी तरह से अवरुद्ध हो गया है। इस संबंध में उच्चाधिकारियों को अवगत कराया जा रहा है।
-अजय गोयल, अधिशासी अभियंता।
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