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छह हजार फर्जी कार्डधारकों का सूची से कटा नाम

अपात्र होते हुए भी पात्र बनकर गरीबों का हक मारने वाले छह हजार फर्जी राशन कार्डधारकों का नाम काट दिया गया है। प्रधानों से सांठ-गांठ कर बड़े पैमाने पर लोगों ने राशन कार्ड बनवा लिया है। जांच के बाद कलई खुलने लगी है। सबसे अधिक फर्जी कार्डधारक पात्र गृहस्थी के हैं। अन्य फर्जी कार्डधारकों को सूचीबद्ध करने के लिए लेखपाल व सेक्रेटरी को लगाया गया है। यह सभी तहसीलवार निरीक्षण कर अपनी रिपोर्ट सौपेंगेजिसके बाद बचे रह गए अपात्रों का नाम भी हटाया जाएगा।

By JagranEdited By: Published: Tue, 28 Jan 2020 06:12 PM (IST)Updated: Tue, 28 Jan 2020 06:12 PM (IST)
छह हजार फर्जी कार्डधारकों का सूची से कटा नाम
छह हजार फर्जी कार्डधारकों का सूची से कटा नाम

जागरण संवाददाता, जौनपुर : अपात्र होते हुए भी पात्र बनकर गरीबों का हक मारने वाले छह हजार फर्जी राशन कार्डधारकों का नाम कार्डधारकों की सूची से काट दिया गया है। प्रधानों से सांठ-गांठ कर बड़े पैमाने पर लोगों ने राशन कार्ड बनवा लिया है। जांच के बाद कलई खुलने लगी है। सबसे अधिक फर्जी कार्डधारक पात्र गृहस्थी के हैं। अन्य फर्जी कार्डधारकों को सूचीबद्ध करने के लिए लेखपाल व सेक्रेटरी को लगाया गया है। यह सभी तहसीलवार निरीक्षण कर अपनी रिपोर्ट सौंपेंगे, जिसके बाद बचे रह गए अपात्रों का नाम भी हटाया जाएगा। चहेतों का कार्ड बनाने पर दिया जोर

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अपात्रों को राशन कार्ड मुहैया कराने के लिए ग्राम पंचायतों में मानकों को ताक पर रख दिया गया। बैठक में जरूरी दस्तावेजों को देखे बगैर प्रस्ताव पारित किए ही ब्लाक स्तर से तहसीलों पर आवेदन भेजे गये। प्रधान व सेक्रेटरी का हस्ताक्षर होने की वजह से आसानी से बड़े पैमाने पर अपात्रों ने भी राशन कार्ड हथिया लिया। प्रभारी मंत्री तक पहुंची शिकायत

अपात्र लोगों के पास राशन कार्ड होने की शिकायत जिले के प्रभारी मंत्री उपेंद्र तिवारी से भी की गई, जिसे गंभीरता से लेते हुए उन्होंने इस कार्रवाई का निर्देश दिया। साफ कहा कि जरूरतमंदों को प्राथमिकता के आधार पर राशन कार्ड दिया जाय। साथ ही अपात्रों को सूचीबद्ध कर नाम काटा जाए। योजनाओं का लाभ लेने के लिए बनवाया कार्ड

कुछ ऐसे भी लोग हैं, जो महज आयुष्मान व उज्ज्वला समेत अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ लेने के लिए राशन कार्ड बनवा लिए जो अब चिह्नित किए जा रहे हैं। सत्यता छिपाकर राशन कार्ड बनवाने वालों पर विधिक कार्रवाई भी की जा सकती है। ऐसे लोगों के लिए स्वयं कार्ड जमा करने का विकल्प दिया गया है। लेखपाल व सेक्रेटरी देंगे रिपोर्ट

फर्जी कार्डधारकों का पता लगाने के लिए लेखपाल व सेक्रेटरी को लगाया गया है। अभी तक कुल 21 ब्लाकों से छह हजार फर्जी कार्डधारकों का पता लगाया जा चुका है। आगे भी सभी अपनी रिपोर्ट पूर्ति निरीक्षक को देंगे, जहां से सूची जिलापूर्ति कार्यालय को भेजी जाएगी। जिले में कुल कार्डधारक

अंत्योदय कार्डधारक : 125473

पात्र गृहस्थी : 677454 ''अब तक मिली रिपोर्ट के आधार पर छह हजार फर्जी राशन कार्डधारकों का पता चला है, जिनके नाम काटे जा रहे हैं। अपात्र होते हुए भी कार्ड बनवाना जुर्म है। ऐसे लोगों से अपील है कि वह स्वयं से अपना कार्ड जमा कर दें, अन्यथा उन पर विधिक कार्रवाई भी हो सकती है। जांच अभियान आगे भी जारी रहेगा।''

-अजय प्रताप सिंह, डीएसओ।


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