ज्वाइंट मजिस्ट्रेट बाइक से पहुंचे एआरटीओ कार्यालय, की छापेमारी
जागरण संवाददाता जौनपुर तमाम शिकायतों के बाद एआरटीओ कार्यालय पर बुधवार को ज्वाइंट
जागरण संवाददाता, जौनपुर : तमाम शिकायतों के बाद एआरटीओ कार्यालय पर बुधवार को ज्वाइंट मजिस्ट्रेट हिमांशु नागपाल धमके पड़े। एसडीएम सदर पद पर कार्यरत नागपाल एक आम नागरिक बनकर बाइक से लेखपाल के साथ पहुंचे थे। जब उन्होंने कर्मचारी से लाइसेंस बनाने की प्रक्रिया पूछी तो वह उन पर भड़क गया और बदसलूकी की। इसके बाद उन्होंने फोर्स बुलाकर वहां अपनी पहचान बताई। जिससे अफरा-तफरी का माहौल हो गया। इस दौरान खड़े बिचौलिए वहां से भागने लगे, हालांकि तीन लोगों को पुलिस हिरासत में लेकर थाने में पूछताछ कर रही है। इसके साथ ही दो कर्मियों पर कार्रवाई की गई।
ज्वाइंट मजिस्ट्रेट को सहायक संभागीय परिवहन कार्यालय से किसी ने घुस लेकर लाइसेंस बनाने की शिकायत थी। इसके बाद उन्होंने अपने लेखपाल को बुलाया और उसकी बाइक पर पीछे बैठकर कार्यालय पहुंच गए। जहां वह गले में गमछा लटकाए व चेहरे पर मास्क लगाकर लाइसेंस बनाने की प्रक्रिया पूछने लगे। पहले तो कर्मचारी ने उन्हें सही से जानकारी नहीं दी, दोबारा पूछने डांटकर भगा दिया। इस दौरान करीब आधा से एक घंटे तक उन्होंने परिसर में रहकर बिना परिचय दिए सभी से बातचीत की। जहां टहल रहे कुछ बिचौलियों ने उन्हें भी लाइसेंस बनाने व अन्य काम के लिए शार्टकट का तरीका बताया तो वह भौचक हो गए। जब उन्होंने फोर्स बुलाकर मुख्य गेट का दरवाजा बंद करवाया तो अफरा-तफरी का माहौल हो गया, जिसमें पिछले गेट से काफी संख्या में लोग भागने में सफल रहे तो कार्यालय के बाहर दुकानों का शटर धड़ाधड़ बंद हो गया। पुलिस ने मौके पर तीन को पकड़कर लाइन बाजार थाना लाया। इसके बाद विभाग के सभी अधिकारी उनके पास पहुंच गए। फिर उन्होंने एआरटीओ एसपी सिंह के साथ दुर्व्यवहार करने वाले कर्मचारी के पास पहुंचकर कड़ी फटकार लगाई। उन्होंने कहा कि इसी वजह से वह आम नागरिक बनकर आए थे, जिससे विभाग व कर्मियों की असली पहचान हो सके। उन्होंने फौरन लाइसेंस के लर्निंग पटल पर बैठे बाबू का पटल बदलने व वेंडर के माध्यम से काम कर रहे कर्मचारी को हटाने का निर्देश दिया।