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रेलवे की पाइलिग में बड़ी चूक, नहीं मान रहे गड़बड़ी

निर्धारित डिजाइन से तीन मीटर ऊपर कर दी पाइलिग अब हैमर से काटे जा रहे पिलर नीचे बनेगा फाउंडेशन लापरवाही चर्चा-निर्धारित डिजाइन के अनुरूप काम न होने के कारण काट रहे पिलर तर्क- पाइलिग तय ऊंचाई से अधिक कर दी जिसे अब काटा जा रहा है

By JagranEdited By: Published: Fri, 03 Jan 2020 01:22 AM (IST)Updated: Fri, 03 Jan 2020 06:02 AM (IST)
रेलवे की पाइलिग में बड़ी चूक, नहीं मान रहे गड़बड़ी
रेलवे की पाइलिग में बड़ी चूक, नहीं मान रहे गड़बड़ी

जागरण संवाददाता, हाथरस : तालाब चौराहे पर रेलवे के ओवरब्रिज की पाइलिग के लिए जमीन के अंदर बनाए गए कंक्रीट के पिलर को गुरुवार को तोड़े जाते देख वहां लोगों की भीड़ लग गई। पूछने पर काम कर रहे ठेकेदार ने सफाई दी कि फांउडेशन और नीचे होनी है, जबकि चर्चा यह है कि पाइलिग निर्धारित ऊंचाई से अधिक कर दी है, जिसे अब काटा जा रहा है। साफ है कि यह बड़ी लापरवाही हुई है, लेकिन रेलवे के इंजीनियर्स भी इस बात से इन्कार कर रहे हैं।

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पिलर खड़ा करने के दो तरीके होते हैं। एक सीधे गड्ढा कर फाउंडेशन बनाकर तथा दूसरा पाइलिग के जरिए। पाइलिग उस जगह की जाती है, जहां फ्रिक्शन की दिक्कत होती है। मिट्टी की पकड़ खराब हो। आसपास जलाशय होने के कारण भी मिट्टी की पकड़ खराब हो जाती है। चौराहा के पास सैकड़ों वर्ष पुराना तालाब है। इसलिए रेलवे ने पिलर की मजबूती के लिए पाइलिग का काम कराया। तीन महीने के लिए यह काम रुक गया था। विद्युत लाइन शिफ्टिग काम शुरू होने के बाद 15 दिन पहले ही फिर से पाइलिग शुरू हुई है। जानकारी के अनुसार चार जगह पाइलिग करने के बाद इंजीनियर दो दिन पहले निरीक्षण को पहुंचे थे। तब इस बात पर ध्यान दिया गया कि पाइलिग तीन मीटर ऊपर कर दी गई है। कल से सभी पाइलिग के चारों ओर गड्ढा खोदा जा रहा था। गड्ढा होने के बाद तीन मीटर ऊपर तक डाले गए कंक्रीट को काटने का काम किया। सुबह जब मजदूर हैमर लेकर कंक्रीट काटने बैठे तो वहां लोगों की भीड़ जुट गई। यही चर्चा रही कि डिजाइन के अनुरूप काम न होने के कारण इसे काटा जा रहा है। जब इस संबंध में वहां मौजूद ठेकेदार से बात की तो उसने इसे काम का हिस्सा बताया।

केवल ठेकेदार ही नहीं, बल्कि पूर्वाेत्तर रेलवे के एक्सईएन, निर्माण पीपी कुजूर ने भी यही बात कही। उन्होंने कोई भी आधिकारिक बयान देने से इन्कार करते हुए कहा कि काम सही हो रहा है। तीन मीटर नीचे ले जाकर कैप बनाया जाएगा, जिस पर पिलर खड़ा होगा। अब कैप तो पाइलिग तीन मीटर पहले रोक कर भी डाला जा सकता था। आधिकारिक बयान के लिए पूर्वोत्तर रेलवे इज्जतनगर मंडल के पीआरओ राजेंद्र सिंह को कई बार फोन किया तथा ई-मेल भी किया गया, लेकिन उनकी ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई। हटी 33 हजार वोल्ट की लाइन

हाथरस : रेलवे ओवर ब्रिज के निर्माण कार्य के लिए विद्युत लाइन शिफ्टिग का काम चल रहा है। हालांकि पिछले कुछ दिनों में यह काम धीमा पड़ा है। 11 हजार वोल्ट की लाइन हटने के बाद जिला अस्पताल के सामने से गुजर रही 33 हजार वोल्ट की लाइन को भी अंडरग्राउंड कर दिया गया है। गुरुवार को मजदूरों ने नई लाइन जोड़ने का काम किया। इसके लिए विद्युत सप्लाई कई घंटे के लिए बाधित भी रही।


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