बचकर निकलें.. यहां गड्ढों में खतरे का सिग्नल
मथुरा से बरेली हाईवे पर हाथरस से सिकंदराराऊ तक 100 से अधिक गड्ढे कराह रहे वाहन।
जागरण संवाददाता, हाथरस : यदि आप मथुरा से बरेली हाईवे पर हाथरस से सिकंदराराऊ की ओर निकल रहे हैं तो जरा बचकर निकलें, क्योंकि यहां सरकारी सिस्टम की लापरवाही की नुमाइश दिखेगी। कदम दर कदम गड्ढे खतरे का सिग्नल दे रहे हैं। हाथरस से सिकंदराराऊ की दूरी 35 किलोमीटर है मगर इतनी दूरी में पूरे 100 से अधिक गड्ढे हो चुके हैं। जोखिम भरा सफर हाथरस के तालाब चौराहे से ही शुरू हो जाता है। गड्ढे से गाड़ी को बचाने के फेर में सामने से आते वाहनों से टक्कर होना आम बात हो गई है। वर्ष 2019 तक मुरसान से हाथरस और हाथरस से सिकंदराराऊ मार्ग लोक निर्माण विभाग के अधीन था, मगर 2019 के बाद इस मार्ग को भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधीन कर दिया गया है। नेशनल हाईवे में आने के बाद भी इस मार्ग की हालत नहीं सुधरी। विभाग की मानें तो जून में ही सड़कों के गड्ढों को भरवाया गया था, मगर थोड़ी सी बारिश ने विभाग के कामकाज पर सवाल खड़े कर दिए। अब बुरा हाल है। इस संबंध में एनएचएआइ के परियोजना निदेशक संजय वर्मा का कहना है कि गड्ढों को भरवाया गया था मगर बारिश के कारण गड्ढे फिर दिखाई देने लगे हैं। इन गड्ढों को जल्द ही भरवाया जाएगा। जिले में 18 करोड़ की लागत से छह सड़कों की सौगात
जासं, हाथरस : प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत ग्रामीण मार्गों का रिन्यूवल कार्यों का शुभारंभ लखनऊ में आयोजित कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया। सभी जनपदों को इसका लाभ मिला है। हाथरस के छह मार्ग भी इसमें शामिल हैं जो करीब 18 करोड़ की लागत के हैं।
कलक्ट्रेट के एनआइसी में वीडियो कान्फ्रेंसिग से डीएम रमेश रंजन, मुख्य विकास अधिकारी आरबी भास्कर और प्रधानमंत्री सड़क योजना और लोक निर्माण अस्थाई खंड के अधिशासी अभियंता जेसी पांडेय भी जुड़े थे।
पांडेय ने बताया कि जनपद में जिन छह सड़कों का सीएम योगी आदित्यनाथ ने शुभारंभ किया है, उनमें राया सादाबाद से बरामई वाया झगरार मार्ग, सादाबाद जलेसर मार्ग से नवलपुर वाया महरारा, सादाबाद के गढ़ी गुमानी से वादंती हैं। सभी सड़कें कुल 29 किलोमीटर और लागत 14 करोड़ 72 लाख है। इसके अलावा पुरदिलनगर से हसायन और सिकंदराराऊ के मछुआ से कैनाल पटरी दोनों की लंबाई कुल 25 किलोमीटर कुल लागत तीन करोड़ 87 लाख है। इन सभी छह सड़कों पर काम शुरू हो चुका है। काम नवंबर तक पूरा कर लिया जाएगा।