पारदर्शी चुनाव परिणाम के लिए चार तरीके से होगी मतगणना
चुनाव आयोग ने मतगणना को लेकर दिए हैं दिशा-निर्देश पहले चरण के लिए प्रशिक्षण शुरू तगड़ी तैयारी मतों में अंतर मिलने पर परिणाम की घोषणा पर रोक लगाई जा सकती है एमजी पॉलीटेक्निक कॉलेज में गिने जाएंगे वोट तैयारियां अंतिम दौर में
जासं, हाथरस : निष्पक्ष और पारदर्शी चुनाव परिणाम के लिए चुनाव आयोग हर कोशिश में लगा हुआ है। पिछले चुनावों में तरह-तरह की शिकायतों और आरोपों को देखते हुए चुनाव आयोग ने इस बार चार तरीकों से मतगणना की तैयारी की है। इसका उद्देश्य मतगणना में किसी भी खामी की संभावनाओं को खत्म करना है। मतगणना के बाद रैंडम वेरीफिकेशन भी किया जाएगा। अगर इसमें अंतर पाया जाता है तो चुनाव आयोग के निर्देश पर परिणाम पर रोक भी लगाई जा सकती है।
लोकसभा चुनाव की मतगणना 23 मई को होनी है। हाथरस के एमजी पॉलीटेक्निक कॉलेज परिसर में मतगणना की तैयारियां अंतिम दौर में हैं। जिला प्रशासन ने प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र की मतों की गणना के लिए 14-14 टेबल लगाने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही सभी प्रत्याशियों को इस हिसाब से एजेंटों के नाम व फोटो देने के निर्देश दिए हैं। मतगणना को लेकर कार्मिकों का प्रशिक्षण भी गुरुवार से शुरू हो गया।
इस प्रकार होगी मतगणना
1-ईवीएम से मतगणना : सबसे पहले ईबीएम से मतों के गणना की जाएगी। हाथरस जिले के तीनों विधानसभा क्षेत्रों की कंट्रोल यूनिटों से वोटों को काउंट किया जाएगा। इस मतगणना का मिलान पीठासीन अधिकारी द्वारा भरे गए रिकॉर्ड से भी किया जाएगा। इसके लिए कर्मिकों का प्रशिक्षण दिया गया है।
2-ईवीएम में खराबी हो तो : अगर ईवीएम की बैटरी लो हो या फिर कोई अन्य तकनीकी खराबी आ जाए तो ऐसी स्थिति में वीवीपैट से गणना की जाएगी। तीनों विधानसभा क्षेत्रों के वीवीपैट की काउंटिग के लिए अलग एआरओ और कार्मिक नियुक्त किए गए हैं। अलग-अलग राउंड में वीवीपैट की काउंटिग संपन्न होगी। 3-
स्केनिग के बाद पोस्टल
बैलेट की भी काउंटिग
अधिकारियों, कर्मचारियों, सेना के जवानों अथवा वोट डालने के लिए घर न जा पाने वालों के लिए चुनाव आयोग ने पोस्टल बैलेट की अलग व्यवस्था की थी। ईटीपीबीएस (इलेक्ट्रोनिकली ट्रांसफर्ड पोस्टल बैलेट सिस्टम) के जरिए ईमेल पर जवानों के बैलेट पेपर भेजे गए। एक बैलेट पेपर के साथ तीन क्यूआर कोड भेजे गए थे, जिससे डुप्लीकेसी न हो। पहला क्यूआर कोड बैलेट पेपर पर था, दूसरा ब्लैंक और तीसरा सेना के जवान होने के घोषणा पत्र पर। जवानों को पोस्टल बैलेट लिफाफे में रखकर भेजे हैं। अब इनकी स्केनिग की जाएगी। जो बैलेट पेपर मान्य होंगे, उन्हें अलग किया जाएगा। एक जैसे क्यूआर कोड वाले या फिर जिन बैलेट पेपर के साथ सक्षम अधिकारी का डिक्लेरेशन नहीं होगा उन्हें अमान्य माना जाएगा। इनकी गणना के लिए अलग एआरओ और कार्मिक लगाए जाएंगे। 4-वीवीपैट का रैंडम वेरिफकेशन
अंत में हर विधानसभा क्षेत्र के पांच-पांच बूथों के वीवीपैट का औचक मिलान किया जाएगा। इनकी काउंटिग होगी। यह वीपीपैट दूसरे स्टैप में काउंट किए गए वीवीपैट से अलग होंगे। फिर इन वीवीपैट और ईवीएम के वोटों का मिलान किया जाएगा। मिलान सहीं होने पर परिणाम की घोषणा की जाएगी।
ऐसे रुक सकता है चुनाव परिणाम
वीवीपैट के रैंडम वेरीफिकेशन के बाद इसका मिलान ईवीएम के वोटों से किया जाएगा। अगर दोनों के वोटों में अंतर मिलता है तो इसकी एक-दो बार फिर से गणना की जाएगी। अगर फिर भी मतों की संख्या में अंतर हुआ तो जिला निर्वाचन अधिकारी इस संबंध में चुनाव आयोग को सूचित करेंगे। चुनाव आयोग ऐसी सीट के परिणाम पर रोक लगा सकता है। इनका कहना है
चार तरीकों से मतों की गणना की जाएगी। पारदर्शी और निष्पक्ष तरीके से मतों को गिना जाएगा। सभी चरण सही तरह से काउंट हो जाने के बाद चुनाव परिणाम की घोषणा होगी।
-अशोक कुमार शुक्ला, उप जिला निर्वाचन अधिकारी।
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