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महंगाई ने लगाई रसोईं में आग, जलने लगे मिट्टी के चूल्हे

बढ़ते दामों को लेकर रसोईं से निकला उज्ज्वला का सिलिडर -प्रति वर्ष 12 सिलिडर के बजाए अधिकांश मुश्किल से ले रहे तीन सिलिडर

By JagranEdited By: Published: Mon, 16 May 2022 10:21 PM (IST)Updated: Mon, 16 May 2022 10:21 PM (IST)
महंगाई ने लगाई रसोईं में आग, जलने लगे मिट्टी के चूल्हे
महंगाई ने लगाई रसोईं में आग, जलने लगे मिट्टी के चूल्हे

हरदोई: उदाहरण एक: कोथावां विकास खंड के बांधा निवासी गीता देवी पत्नी छत्रपाल को उज्ज्वला योजना में कनेक्शन मिला था। पहले तो वह किसी तरह गैस सिलिडर भरवा लेतीं थी। लेकिन पिछले एक साल से गैस-चूल्हा अलग रखा है और अब वह फिर मिट्टी के चूल्हे पर खाना बनाती हैं।

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उदाहरण दो: कछौना क्षेत्र के गोठवा निवासी सुषमा को दो वर्ष पहले उज्ज्वला योजना में गैस कनेक्शन मिला था। वह मुश्किल से तीन बार ही सिलिडर भरवा पाईं। अब सिलिडर किनारे रखा है और वह मिट्टी के चूल्हे पर खाना-चाय और नाश्ता आदि बनातीं हैं।

गीता देवी, सुषमा ही नहीं किरन, गीता, शर्मा देवी, मनीषा देवी उज्ज्वला योजना में रसोई गैस सिलिडर और चूल्हा मिल जाने से खुश थीं। सोचा था कि अब न तो ईंधन की समस्या होगी और न ही धुआं से आंख खराब होगी, पर महंगाई ने उनके सपनों पर पानी फेर दिया। रसोई गैस सिलिडर के दाम आसमान पर पहुंच जाने के कारण निम्न आय वर्ग वाले लोगों के घरों में अब फिर मिट्टी के चूल्हों पर खाना बनने लगा है। यही नहीं हजारों परिवारों की यही दशा है। चाह कर भी वह महंगा गैस सिलिडर नहीं ले पा रहे हैं।

सरकार की मंशा तो ठीक थी, लेकिन महंगाई ने रसोईं में आग लगा दी। सोचा था कि रसोईं गैस सिलिडर मिल जाने से निम्न आय वर्ग की महिलाएं भी आराम से खाना बना सकेंगी। काफी संख्या में लाभार्थी सामने भी आए और जिले में चार लाख 63 हजार 685 को उज्ज्वला योजना में गैस कनेक्शन मिला। शुरू में तो सभी ने उपयोग किया पर जैसे जैसे महंगाई बढ़ती गई, गैस सिलिडर रसोईं से बाहर आते गए। पूर्ति विभाग के आंकड़ों की ही मानें तो 25 से 30 फीसद लाभार्थी ही सिलिडर भरवा पा रहे हैं। 14.2 किलो रसोईं गैस सिलिडरों के बढ़े हुए दाम पर एक नजर

माह-------दाम

अप्रैल 2019 ---739 रुपये

अप्रैल 2020-- 777 रुपये

अप्रैल 2021---844.50 रुपये

अप्रैल 2022---985 रुपये

मई 2022---1035 रुपये ---अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पेट्रोलियम पदार्थों के दाम बढ़ने से रसोईं गैस सिलिडर भी महंगे हुए हैं, इसका उज्ज्वला योजना के लाभार्थियों पर प्रभाव भी पड़ा है। यह बात सही है कि साल में 12 सिलिडर के बजाए अधिकांश परिवार तीन से चार सिलिडर ही भरवा पा रहे हैं।

---संजय पांडेय, जिला पूर्ति अधिकारी


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