Move to Jagran APP

गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट में 43 गांवों में मिली खामियां, होगा बदलाव

-डीएम ने यूपीडा के सीईओ को संशोधन के लिए भेजी गांवों की सूची -जिले के 86 गांवों से होकर गुजरेगा गंगा एक्सप्रेस-वे

By JagranEdited By: Published: Wed, 13 Jan 2021 10:57 PM (IST)Updated: Wed, 13 Jan 2021 10:57 PM (IST)
गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट में 43 गांवों में मिली खामियां, होगा बदलाव
गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट में 43 गांवों में मिली खामियां, होगा बदलाव

हरदोई : जिले के 86 गांवों से होकर गुजरने वाले गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट (संरेखण) में खामियां मिली हैं। राजस्व विभाग द्वारा कराए गए सर्वे में मिली खामियों को दुरुस्त कराते हुए एलाइनमेंट में संशोधन कराया जाएगा। तहसील स्तर पर कराए गए सर्वेक्षण में 43 गांवों में मिली खामियों को दुरुस्त कराने और संशोधित एलाइनमेंट के लिए जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने यूपीडा (उप्र एक्सप्रेसवेज औद्योगिक विकास प्राधिकरण) के मुख्य कार्यपालक अधिकारी को गांवों की सूची एलाइनमेंट संशोधन और त्रुटियों को दूर कराए जाने के लिए भेजी है।

loksabha election banner

मुख्यमंत्री की शीर्ष प्राथमिकता में से एक और देश के सबसे लंबे निर्मित होने वाले गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट में जिले की तहसील शाहबाद के छह, सवाजयपुर के 42 और बिलग्राम के 38 गांवों को शामिल किया गया है। एक्सप्रेस-वे के लिए 1201.374 हेक्टेयर भूमि ली जानी है। यूपीडा की ओर से गंगा एक्सप्रेस-वे परियोजना में परामर्शी समिति को उपलब्ध कराई गई 86 गांवों की सूची में एलाइनमेंट के अनुसार भूमि का सर्वे कराया गया। जिलाधिकारी के निर्देशन में हुए सर्वे की एसडीएम से प्राप्त रिपोर्ट में 43 गांवों में खामियां पाई गई हैं।

अपर जिलाधिकारी की ओर से यूपीडा के सीईओ को भेजी गई सूची में तहसील सवायजपुर, बिलग्राम और शाहाबाद के 43 गांवों में क्षेत्रीय लेखपालों द्वारा कराए गए सर्वे और स्थलीय भौतिक सत्यापन में एलाइनमेंट में संशोधन की आवश्यकता है। जिलाधिकारी ने बताया कि सीईओ ने जल्द ही संशोधित एलाइनमेंट और अभिलेखीय खामी दुरुस्त कराने की बात कही है।

जल्द शुरू होगा भूमि अधिग्रहण : जिलाधिकारी अविनाश कुमार ने बताया कि गंगा एक्सप्रेस-वे के एलाइनमेंट में खामियों को दुरुस्त कराए जाने के साथ ही परिसंपत्तियों का चिह्नीकरण और मूल्यांकन का कार्य शुरू कराया जाएगा। पेड-पौधों को संबंधित किसान को निजी उपयोग के लिए काटने की अनुमति वन विभाग के माध्यम से दिलाई जाएगी। अन्य परिसंपत्तियों का मूल्यांकन होगा। मूल्यांकन अनुसार संबंधित व्यक्ति से समझौता के आधार पर खरीदारी की प्रक्रिया पूरी कराते हुए भुगतान कराया जाएगा। भूमि और अन्य परिसंपत्तियों का गंगा एक्सप्रेस-वे के पक्ष में बैनामा कराया जाएगा। मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुसार जून तक कार्य शुरू कराया जाना है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.