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छात्राएं प्याज के अर्क से कर रहीं स्केबीज का उपचार

यूं तो परिषदीय विद्यालयों की व्यवस्था व संसाधनों के अभाव को लेकर अक्सर चचरएं रहती हैं। लेकिन इस बार गांव बझैड़ा खुर्द स्थित उच्च प्राथमिक विद्यालय की दो छात्राओं ने अपनी गाइड अध्यापिका की सहारे ऐसा काम किया है। जिसकी तारीफ कम से कम गांव के लोग तो कर ही रहे हैं। साथ ही जो भी सुनता है वह भी तारीफ किए बिना नहीं रहता है। जी हां इस विद्यालय में पढ़ने वाली का आठ की दो छात्राएं सानिया व सायमा अपनी अध्यापिका प्रज्ञा माहेश्वरी के दिशा निर्देशन में प्याज के अर्क से दवा बनाकर बेहद गंभीर माना जाने वाला चर्मरोग स्केबीज को दूर कर रही हैं।

By JagranEdited By: Published: Tue, 20 Nov 2018 08:11 PM (IST)Updated: Tue, 20 Nov 2018 08:11 PM (IST)
छात्राएं प्याज के अर्क से कर रहीं स्केबीज का उपचार
छात्राएं प्याज के अर्क से कर रहीं स्केबीज का उपचार

ओमपाल राणा, धौलाना: गांव बझैड़ा खुर्द स्थित उच्च प्राथमिक विद्यालय की दो छात्राओं ने स्केबीज रोग का नया उपचार इजाद कर लिया है। कक्षा आठ की दो छात्राओं सानिया और सायमा अपनी अध्यापिका प्रज्ञा माहेश्वरी के निर्देशन में प्याज के अर्क से दवा बनाकर बेहद गंभीर माना जाने वाला चर्मरोग स्केबीज का उपचार कर रही हैं।

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अध्यापिका प्रज्ञा माहेश्वरी ने बताया कि ये दोनों छात्राएं घर-घर जाकर लोगों से उनकी स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं की जानकारी लेती हैं। स्केबीज रोग का प्याज के अर्क में बनाई गई दवा के माध्यम से केवल एक सप्ताह में निदान कर दिया जाता है। उनका दावा है कि एक बार ठीक होने के बाद यह बीमारी फिर कभी नहीं होगी। उन्होंने गांव के ही दो निजी विद्यालयों में जाकर कई छात्र छात्राओं को इस बीमारी से निजात दिलाई है। उनके उपचार से बालों के गिरने, सीप, दाद जैसी बीमारियों का भी निदान हो रहा है। अस्थमा जैसी गंभीर रोग का भी ये छात्राएं घरेलू इलाज कर गांव में चर्चा का विषय बनी हुई है। अध्यापिका बताती हैं कि पिछले वर्ष उन्होंने इस दवा के प्रभाव के संबंध में शोध किया था। इसके लिए उन्हें प्रदेश स्तर पर सम्मानित किया गया था। उन्हें कई प्रकार के रोगों का देशी इलाज करने की जानकारी है। ग्राम प्रधान अनीता देवी का कहना है कि ये छात्राओं कई मरीजों को ठीक कर चुकी हैं। विद्यालय के प्रधान अध्यापक कैलाश चंद का कहना है कि प्रज्ञा माहेश्वरी के प्रयास से काफी रोगियों को राहत मिली है। वह भी उन्हें पूरा सहयोग देने को तैयार हैं। खंड शिक्षा अधिकारी एम.एल. पटेल का कहना है कि विज्ञान संबंधी एक प्रोजेक्ट के तहत घरेलू उपचार का विषय लेकर इन छात्राओं को शिक्षा दी गई है। यह उपचार सफल साबित हो रहा है। यह हर्ष का विषय है।


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