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नौकरी का झांसा देकर 30 लाख ठगने का प्रयास, आरोपित गिरफ्तार

जागरण संवाददाता हापुड़ रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देकर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव

By JagranEdited By: Published: Sat, 05 Dec 2020 07:59 PM (IST)Updated: Sat, 05 Dec 2020 07:59 PM (IST)
नौकरी का झांसा देकर 30 लाख ठगने का प्रयास, आरोपित गिरफ्तार
नौकरी का झांसा देकर 30 लाख ठगने का प्रयास, आरोपित गिरफ्तार

जागरण संवाददाता, हापुड़

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रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देकर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव निवासी दो युवकों से एक आरोपित ने 30 लाख रुपये ठगने का प्रयास किया। मामले की जानकारी पर शनिवार को पुलिस ने आरोपित को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली है, जबकि उसके एक अन्य साथी की पुलिस तलाश कर रही है। आरोपित से फर्जी आइडी कार्ड, आवेदन पत्र व मोबाइल फोन बरामद हुआ है।

गांव अच्छेजा निवासी रवि कुमार ने बताया कि कुछ समय पहले फोन काल के जरिए उसकी बात मुंबई के सी 16 आनंद अपार्टमेंट निवासी आनंद मिश्रा से हुई थी। उक्त व्यक्ति ने रेलवे में टीसी के पद पर नौकरी दिलाने का बात कहते हुए पीड़ित को अपने झांसे में ले लिया। शुक्रवार को उक्त व्यक्ति पीड़ित के गांव में पहुंचा। आरोपित ने एक युवक की नौकरी लगवाने की ऐवज में 15 लाख रुपये की डिमांड की। झांसे में पीड़ित व अर्जुन नगर निवासी सतेंद्र ने आरोपित द्वारा दिए गए फार्म पर फोटो व हस्ताक्षर कर दिए।

दोनों ने पीड़ित को अपने शैक्षिक दस्तावेज भी दे दिए हैं, लेकिन नौकरी के लिए दिए जाने वाले 30 लाख रुपये कुछ दिन बाद देने की बात तय हुई। आरोपित के जाने के बाद पीड़ित को पता चला कि उक्त आरोपित गांव निवासी अनिल व संजीव को नौकरी का झांसा देकर एक-एक लाख रुपए की ठगी कर चुका है। पीड़ित ने तत्काल मामले की सूचना पुलिस को दी। कोतवाली प्रभारी निरीक्षक सुबोध कुमार सक्सेना ने बताया शनिवार सुबह आरोपित आनंद मिश्रा को मोहल्ला लज्जापुरी से गिरफ्तार कर लिया है।

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बेरोजगार युवकों को निशाना बनाकर करते हैं ठगी

- कोतवाली प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि आरोपित बेहद ही शातिर किस्म का अपराधी है। वह अपने साथी शिवाजी फौजी के साथ मिलकर पिछले चार वर्षों से बेरोजगार युवकों को निशाना बनाकर ठगी करते आ रहा है। दोनों पहले युवाओं को रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देते थे। सरकारी नौकरी के लिए फर्जी आवेदन व परिक्षा के लिए फर्जी प्रवेश पत्र तैयार किया जाता था। इसके बाद युवाओं से ठगी करते हैं। आनंद मिश्रा ने वर्ष 2004 में कंप्यूटर साइंस से बीटेक किया था। इसके चलते वह आसानी से फर्जी प्रपत्र तैयार करने में माहिर है। स्वयं को रेलवे में मैनेजर दर्शाने के लिए आरोपित ने फर्जी आइडी कार्ड भी तैयार किया हुआ है। आरोपित से नौकरी के लिए भरे गए दो आवेदन पत्र, 18 खाली आवेदन पत्र, दो मोबाइल फोन व फर्जी आईडी कार्ड भी बरामद हुआ है।


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