Move to Jagran APP

गोरखपुर में कोरोना से निराश्रित महिलाओं को मिलेगी नौकरी

जिला प्रोबेशन अधिकारी सर्वजीत सिंह ने बताया कि निराश्रित महिलाओं को जल्द से जल्द विधवा पेंशन उपलब्ध कराया जाएगा। इसी तरह आंगनबाड़ी की भर्ती में भी हाईस्कूल पास निराश्रित महिलाओं को पहली प्राथमिकता दी जाएगी। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को हर महीने 5500 रुपये का मानदेय मिलता है।

By Satish Chand ShuklaEdited By: Published: Sat, 17 Jul 2021 11:48 AM (IST)Updated: Sat, 17 Jul 2021 03:09 PM (IST)
गोरखपुर में कोरोना से निराश्रित महिलाओं को मिलेगी नौकरी
मुख्य विकास अधिकारी इंद्रजीत सिंह का फाइल फोटो, जागरण।

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। कोरोना महामारी के कारण निराश्रित हुए बच्‍चों के साथ ही महिलाओं को भी सहारा देने की मुहिम गोरखपुर में शुरू हो गई है। जिला प्रोबेशन अधिकारी कार्यालय में विधवा पेंशन शुरू करने के लिए महिलाओं से फार्म भरवाए जा रहे हैं। योग्यता के अनुसार उन्हें आत्मनिर्भर बनाने की भी कवायद शुरू हो चुकी है। आने वाले 10 दिनों में आंगनबाड़ी के रूप में भी इन महिलाओं को तैनात किया जाएगा। महिला एवं बाल विकास विभाग में जल्द ही आंगनबाड़ी, सहायिका आदि की भर्ती शुरू होने वाली है। इसमें भी निराश्रित महिलाओं को प्राथमिकता मिलेगी।

loksabha election banner

सक्रिय हुआ जिला प्रोबेशन अधिकारी कार्यालय

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोरोना महामारी के समय निराश्रित हुए बच्‍चों के लिए मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना शुरू की है। मंगलवार को गोरखपुर दौरे पर आए मुख्यमंत्री ने कहा था कि सरकार कोरोना से निराश्रित हुए हर व्यक्ति के साथ खड़ी है। बच्‍चों के साथ ही उन्होंने निराश्रित महिलाओं की सहायता की भी घोषणा की थी। मुख्यमंत्री की घोषणा के साथ ही जिला प्रोबेशन अधिकारी कार्यालय ने मुहिम भी शुरू कर दी।

महिलाओं को विधवा पेंशन देने की तैयारी

कोरोना में पिता के निधन के बाद जो बच्‍चे अनाथ हुए, उनकी मां को भी विधवा पेंशन उपलब्ध कराने की कवायद की जा रही है। इसके साथ ही कोरोना काल में मृत लोगों की सूची लेकर निराश्रित महिलाओं को चिन्हित किया जा रहा है। उन्हें फोन कर कार्यालय बुलाकर विधवा पेंशन के लिए फार्म भरने को कहा जा रहा है। अब तक करीब 500 महिलाएं चिन्हित हैं। जिला प्रोबेशन अधिकारी सर्वजीत सिंह ने बताया कि निराश्रित महिलाओं को जल्द से जल्द विधवा पेंशन उपलब्ध कराया जाएगा। इसी तरह आंगनबाड़ी की भर्ती में भी हाईस्कूल पास निराश्रित महिलाओं को पहली प्राथमिकता दी जाएगी। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को हर महीने 5500 रुपये का मानदेय मिलता है। इसके अलावा राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन एवं शहरी आजीविका मिशन के अंतर्गत स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से भी महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की तैयारी है।

मुख्य विकास अधिकारी इंद्रजीत सिंह का कहना है कि कोरोना से निराश्रित महिलाओं को हर सहायता उपलब्ध कराई जाएगी। विधवा पेंशन के लिए फार्म भरवाया जा रहा है। इसके साथ ही आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, सहायिका की भर्ती में भी प्राथमिकता मिलेगी। एनआरएलएम के जरिए भी रोजगार मुहैया कराया जाएगा।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.