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बुजुर्ग व महिलाओं को ही निशाना बनाते थे बिहारी लुटेरे, जानें-कैसे आए पकड़ में

बिहार के लुटेरों का गिरोह देवरिया जिले में वारदात को अंजाम देता था। गिरोह के सदस्य बुजुर्ग और महिलाओं को ही निशाना बनाते थे।

By JagranEdited By: Published: Sat, 27 Jul 2019 10:23 AM (IST)Updated: Sat, 27 Jul 2019 10:23 AM (IST)
बुजुर्ग व महिलाओं को ही निशाना बनाते थे बिहारी लुटेरे, जानें-कैसे आए पकड़ में
बुजुर्ग व महिलाओं को ही निशाना बनाते थे बिहारी लुटेरे, जानें-कैसे आए पकड़ में

गोरखपुर, जेएनएन। देवरिया की स्वाट टीम के हत्थे चढ़े शातिर बदमाश केवल बुजुर्ग व कमजोर महिलाओं को ही अपना निशाना बनाते थे, ताकि उनका प्रतिरोध कोई न कर सके। खास बात यह है कि गिरोह के सदस्य कभी भी लोगों पर फायर नहीं झोंकते और घटना को अंजाम देने के लिए हाईस्पीड वाली गाड़ियों का ही प्रयोग करते थे। गिरोह के पांच सदस्यों को कोतवाली पुलिस पहले ही गिरफ्तार कर जेल में डाल चुकी है। उनपर गंगेस्टर की भी कार्रवाई हो चुकी है। गिरोह के सदस्य जनपद में 2018 व 19 में कई घटनाओं को अंजाम दे चुके हैं।

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ऐसे पकड़े गए लुटेरे, दो घटनाओं का पर्दाफाश

देवरिया जिले के सदर कोतवाली पुलिस व स्वाट टीम को रात बड़ी सफलता हाथ लगी। पुलिस ने अंतरप्रांतीय तीन लुटेरों को सदर कोतवाली के सोनूघाट के समीप से गिरफ्तार किया। इस दौरान उनके पास से लूट के नकदी रुपये, गांजा, असलहे और एक बाइक बरामद हुआ। गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने जनपद में हुई दो लूट की घटनाओं का पर्दाफाश किया है। एसपी ने घटनाओं का पर्दाफाश करने वाली टीम को दस हजार रुपये इनाम देने की घोषणा की है।

देवरिया के पुलिस अधीक्षक डा.श्रीपति मिश्र ने बताया कि शहर कोतवाल अरुण कुमार व स्वाट टीम प्रभारी संतोष सिंह, अनिल यादव, घनश्याम सिंह अपनी टीम के साथ सोनूघाट चौराहे पर थे। इस बीच एक बाइक पर सवार तीन युवक महुआनी चौराहे की तरफ से आते नजर आए। पुलिस टीम को देखते ही वह बाइक मोड़ कर भागने लगे। यह देख पुलिस को संदेह हुआ और उनका पीछा करने लगी। इस बीच बाइक सवार बदमाशों ने पुलिस पर फायर झोंक दिया। पुलिस ने अपना बचाव किया, इसी दौरान बाइक फिलस गई और तीनों गिर गए और सुरक्षा कर्मियों ने उन्हें पकड़ लिया।

इन बदमाशों की हुई गिरफ्तारी

पकड़े गए बदमाशों में राजपाल कुमार पासवान, अविनाश यादव, शिवशंकर पासवान निवासी नया टोला जुराबगंज, थाना कोढ़ा, जनपद कटिहार, बिहार शामिल हैं। इनके पास से पुलिस ने तीन अदद कट्टा, चार किग्रा गांजा व लूट के 10,300 रुपये बरामद किया।

घटना को अंजाम देने में सिर्फ तीन लुटेरे ही रहते थे साथ

पुलिस के हत्थे चढ़े सरगना राजपाल ने बताया कि घटना को अंजाम देने में एक साथ केवल तीन लोग ही रहते हैं। एक सदस्य को बैंक में रहता हैं, जबकि दो लोग बाइक लेकर बाहर खड़े रहते हैं। हम लोग कभी भी 200 सीसी से कम की बाइक प्रयोग नहीं करते। अंदर खड़ा सदस्य केवल यह देखता है कि कौन बुजुर्ग ज्यादा रुपये निकाल रहा है। उसके साथ कोई अन्य तो नहीं है। जब वह रुपये लेकर बाहर निकलता है तो उसकी सूचना बाहर खड़े बाइक सवार को दी जाती है और फिर वह एकांत पाते ही घटना को अंजाम देकर फरार हो जाते हैं। इनकी एक और विशेषता है कि जब भी घटनाओं को अंजाम देते हैं तो उस जनपद में उनका निवास नहीं रहता। इस समय यह पड़ोसी प्रांत बिहार के गोपालगंज जनपद में निवास कर रहे थे।

देवरिया के अलावा कई जनपद की घटना भी कबूली

पूछताछ में तीनों ने बताया कि वे लुटेरे हैं। 10 जून को सलेमपुर कोतवाली के नवलपुर के समीप एक बुजुर्ग से एक लाख चौदह हजार व 12 जून को शहर के गोरखपुर रोड से एक बुजुर्ग से एक लाख रुपये लूट लिए थे। इनका मास्टर माइंड राजपाल है। खास बात है कि गिरोह के पांच सदस्य फरवरी माह में ही गिरफ्तार होकर जेल जा चुके हैं। गिरोह के सदस्यों ने देवरिया में हुई दो घटनाओं को तो कबूला ही गोरखपुर में कुलपति आवास के सामने एक महिला का कंगन व अन्य सामान 20 जुलाई को, 14 जून को महराजगंज के सिदुरिया के समीप एक व्यक्ति से, 13 जून को महराजगंज के मऊ पाकड़ चौराहा व 27 मई को महराजगंज के कोल्हुई बाजार में खड़ी बाइक की डिग्गी से रुपये चुराया था।

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