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कोरोना वायरस की दूसरी लहर में तीन गुना बढ़ गए निमोनिया के मरीज Gorakhpur News

कोरोना वायरस की खून जमाने की प्रवृत्ति ने जाते-जाते निमोनिया को जन्म दिया है। अनेक पोस्ट कोविड मरीज इस बीमारी से पीड़ित हैं। पहली लहर में इस बीमारी के मरीजों की संख्या महज 70 थी जबकि दूसरी लहर में केवल दो माह में ही निमोनिया के 227 मरीज हो गए।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Tue, 13 Jul 2021 08:50 AM (IST)Updated: Tue, 13 Jul 2021 08:50 AM (IST)
कोरोना वायरस की दूसरी लहर में तीन गुना बढ़ गए निमोनिया के मरीज Gorakhpur News
कोरोना की दूसरी लहर में निमोनिया के मरीजों की संख्या तीन गुना बढ़ गई। - प्रतीकात्मक तस्वीर

गोरखपुर, जागरण संवाददाता। कोरोना शरीर से तो चला गया लेकिन इस वायरस की खून जमाने की प्रवृत्ति ने जाते-जाते निमोनिया को जन्म दिया है। अनेक पोस्ट कोविड मरीज इस बीमारी से पीड़ित हैं। पहली लहर में इस बीमारी के मरीजों की संख्या महज 70 थी जबकि, दूसरी लहर में केवल दो माह में ही निमोनिया के 227 मरीज मेडिकल कालेज पहुंच गए।

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पहली लहर के दौरान मेडिकल कालेज में पहुंचे लगभग 70 मरीज

पहली लहर में कोरोना का पहला मरीज 26 अप्रैल को मिला था। इसके बाद धीरे-धीरे इनकी संख्या बढ़ती गई। ठीक होने के कुछ दिन के बाद कुछ लोगों को सांस फूलने व खांसी की समस्या फिर शुरू हुई। पहले इधर-उधर इलाज कराए। आराम नहीं मिलने पर जब वे मेडिकल कालेज पहुंचे तो सीटी स्कैन में पता चला कि वे निमोनिया के शिकार हो गए हैं।

जुलाई से दिसंबर के बीच पहुंचे लगभग 70 मरीजों में से ज्यादातर ठीक हो चुके हैं। दूसरी लहर मार्च के अंतिम सप्ताह से शुरू हुई। अप्रैल-मई में अपने चरम पर थी। जून से निमोनिया के मरीज पहुंचने लगे हैं। 227 मरीजों का इलाज चल रहा है। उनकी सांस फूलने की समस्या कम हो गई है। लेकिन डाक्टरों के मुताबिक इलाज लंबा चलेगा।

क्यों हुआ निमोनिया

विशेषज्ञों के अनुसार कोरोना खून को गाढ़ा करता है। इसकी वजह से फेफड़े की रक्तवाहिनी नलियों में खून के थक्के जम जाते हैं। जितनी दूर खून का जमा होता है, वह हिस्सा सफेद हो जाता है। वहां खून का प्रवाह बंद हो जाता है। इसकी वजह से निमोनिया हो जाती है। सांस फूलने लगती है।

पहली लहर के ज्यादातर मरीज ठीक हो चुके हैं। एक-दो मरीजों का इलाज चल रहा है। एक-दो माह बाद बंद कर दिया जाएगा। दूसरी लहर के मरीजों का इलाज अभी शुरू हुआ है। कम से कम छह माह तक दवाएं खानी पड़ेंगी। - डा. अश्विनी मिश्रा, अध्यक्ष, टीबी एवं चेस्ट रोग विभाग, बीआरडी मेडिकल कालेज

24 घंटे में मिला एक संक्रमित

कोरोना संक्रमण के मामलों में उतार-चढ़ाव जारी है। सोमवार को मात्र एक संक्रमित मिला और एक मरीज स्वस्थ हुआ। लगातार दूसरे दिन कोई मौत न होने से स्वास्थ्य विभाग ने राहत की सांस ली है। सीएमओ डा. सुधाकर पांडेय ने बताया कि जिले में अब तक 59323 लोग संक्रमित हो चुके हैं। 58420 ने कोरोना को मात दे दी है। 847 की मौत हो चुकी है। 56 सक्रिय मरीज हैं। उन्होंने बचाव की अपील की है।


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