हत्या के मामले में कार्रवाई न करने पर नपे थानेदार, सीएम के संज्ञान में मामला आने पर हुए लाइन हाजिर
गोरखपुर में युवक की मौत होने की क्राइम ब्रांच विवेचना करेगी। एसपी क्राइम मामले पर्यवेक्षण करेंगे। एसएसपी ने इस मामले की अग्रिम विवेचना कराए जाने के आदेश दिए हैं। उन्होंने लापरवाही बरतने के आरोप में गुलरिहा थानेदार रवि राय को लाइन हाजिर कर दिया।
गोरखपुर, जेएनएन। गोरखपुर के गुलरिहा क्षेत्र में गोली लगने से युवक की मौत होने की क्राइम ब्रांच विवेचना करेगी। एसपी क्राइम मामले पर्यवेक्षण करेंगे। एसएसपी ने इस मामले की अग्रिम विवेचना कराए जाने के आदेश दिए हैं। सोमवार की देर शाम उन्होंने लापरवाही बरतने के आरोप में गुलरिहा थानेदार रवि राय को लाइन हाजिर कर दिया। पुलिस लाइन में तैनात निरीक्षक विनोद कुमार अग्निहोत्री गुलरिहा के नए थानेदार बनाए गए हैं।
सीएम से की गई थी शिकायत
बेलीपार के चेरिया गांव की रहने वाली मीना देवी ने रविवार को गोरखनाथ मंदिर में जनता दर्शन के दौरान मुख्यमंत्री को बताया कि 6 मार्च 2020 को उनके बेटे संजीव जायसवाल की गुलरिहा थाना क्षेत्र के टिकरिया में मौसा के यहां गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में उसकी बहन का पति व बहन का पुत्र शामिल था मगर पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार करने के बजाय पुलिस ने अंतिम रिपोर्ट लगा दी है।मुख्यमंत्री के निर्देश पर एसएसपी ने एसपी नार्थ मनोज अवस्थी व एसपी क्राइम डा. एमपी सिंह से मामले की जांच कराई। जिसमें विवेचक द्वारा सरसरी तौर पर मामले की विवेचना करने और ज्यादा समय लगाने की बात सामने आई। जिसके बाद एसएसपी ने गुलिरहा थानेदार रवि राय को लाइन हाजिर कर दिया।
जांच में नहीं मिला था हत्या करने का साक्ष्य
हत्या का मुकदमा दर्ज होने के बाद आरोपित परिवार के लोगों ने जनता दर्शन में प्रार्थना पत्र देकर झूठे मामले में फंसाए जाने का आरोप लगाते हुए निष्पक्ष जांच कराए जाने की मांग की थी। अधिकारियों ने जांच की तो पता चला कि मीना देवी के बेटे संजीव ने मौसा लाला जायसवाल के घर प्रेमिका के चक्कर में गोली मारकर आत्महत्या की थी। इससे पहले उसने प्रेमिका को दौड़ाकर गोली मारी थी मगर झुक जाने से वह बच गई थी। बाद में उसने अपनी कनपटी में गोली मार ली थी।
पुलिस ने साक्ष्य के आधार पर फाइनल रिपोर्ट लगा दिया लेकिन परिवार के लोग विवेचना से संतुष्ट नहीं हैं।वह आत्महत्या की घटना को हत्या बता रही हैं। पुलिस की विवेचना बता रही है कि संजीव का रिश्तेदारी की लड़की से प्रेम-प्रसंग था। पांच मार्च 2020 को उसने प्रेमिका को फोन किया था था मगर वह फोन उठा नहीं रही थी जिसके बाद वह मौसी के घर पहुंच गया। वहीं उसने पहले प्रेमिका से झगड़ा किया और फिर उसपर फायर कर दिया। वह बच गई मगर फिर उसने खुद को गोली मार ली। पुलिस विवेचना में वारदात को आत्महत्या माना गया।अब क्राइम ब्रांच नए सिरे से मामले की जांच करेगी।
एएसपी की जांच में मिली यह कमी
वादी ने छह मार्च सूचना दी लेकिन 10 मार्च को हत्या का केस दर्ज हुआ।विवेचक ने इस बारे में गहनता से छानबीन नहीं की।
चश्मदीद गवाहों का धारा 164 सीआरपीसी के तहत बयान दर्ज नहीं कराया गया।उनके बयान की वीडियोग्राफी भी नहीं कराई गई।
घटना की सत्यता जानने के लिए विवेचक ने संदिग्ध व्यक्ति का सीडीयार प्राप्त किया लेकिन गहनता से विश्लेषण नहीं किया गया।
घटनास्थल एवं मृतक की चोटों की फोटोग्राफी व वीडियोग्राफी को विवेचना में सम्मिलित नहीं किया गया।
सीएम के कैंप कार्यालय पहुंचे दूसरे पक्ष के लोग
साेमवार को दूसरे पक्ष के लोग भी गोरखनाथ मंदिर स्थित मुख्यमंत्री के कैंप कार्यालय पहुंचे।हत्या के झूठे मामले में फंसाए जाने की बात कहते हुए इस प्रकरण की निष्पक्ष जांच कराए जाने की जांच की।प्रार्थना पत्र पर गांव के लोगों के भी हस्ताक्षर थे। कैंप कार्यालय से सबको एसएसपी के पास भेज दिया गया।