सौर ऊर्जा से जगमगा रहे पूर्वोत्तर रेलवे के 410 समपार फाटक
पूर्वोत्तर रेलवे के भवन सौर ऊर्जा के अनुकूल बनाए जाएंगे। इसके लिए तैयारी शुरू कर दी गई है। हालांकि 410 समपार फाटकों पर सौर ऊर्जा लगाए गए हैं।
गोरखपुर, जेएनएन। रेलवे के भवन सौर ऊर्जा के अनुकूल बनाए जाएंगे। इसके लिए प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, ताकि अधिक से अधिक गैर परंपरागत ऊर्जा का दोहन किया जा सके। विद्युत ऊर्जा एवं पानी का दुरुपयोग रोककर हम ऊर्जा बचत के क्षेत्र में अपना योगदान दे सकते हैं। अधिकारी विद्युत उपकरणों से होने वाले लीकेज अनिवार्य रूप से दुरुस्त करें।
यह बातें अपर महाप्रबंधक एवं प्रमुख मुख्य इंजीनियर पीडी शर्मा ने कही। वह महाप्रबंधक सभागार में पूर्वोत्तर रेलवे विद्युत विभाग के तत्वावधान में ऊर्जा संरक्षण विषय पर आयोजित संगोष्ठी को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि आधुनिक परिवेश में ऊर्जा, पानी एवं स्वच्छ हवा का संरक्षण मानव के लिए नितांत आवश्यक हो गया है। हम सभी अपने घरों, कार्यालयों एवं अन्य स्थलों पर कम से कम विद्युत ऊर्जा का खपत कर देश में बढ़ रही विद्युत की मांग में अपना योगदान दे सकते हैं। पूर्वोत्तर रेलवे में ऊर्जा संरक्षण के क्षेत्र में काफी कार्य हुआ है।
प्रमुख मुख्य विद्युत इंजीनियर बेचू राय ने बताया कि पूर्वोत्तर रेलवे के 410 समपार फाटकों को सौर ऊर्जा से युक्त कर दिया गया है। 412 स्टेशनों तथा 603 कार्यालयों में सौ फीसद एलईडी लाइट लगाई गई है। इस वर्ष नेडा ने लखनऊ मंडल रेल प्रबंधक भवन व लखनऊ जंक्शन भवन को प्रथम और द्वितीय पुरस्कार दिया है। अस्पतालों की श्रेणी में मंडल चिकित्सालय इज्जतनगर तथा ललित नारायण मिश्र रेलवे अस्पताल गोरखपुर को पुरस्कृत किया गया है।
मुख्य मोटिव पावर इंजीनियर मनोज विश्वास, वरिष्ठ मंडल यांत्रिक इंजीनियर ओंकार नाथ सिंह, सहायक मंडल विद्युत इंजीनियर एके राव आदि ने भी अपने विचार रखे। मुख्य विद्युत सेवा इंजीनियर मुकेश ने संगोष्ठी का संचालन किया। मुख्य विद्युत इंजीनियर वीपीएन तिवारी ने आभार ज्ञापित किया।