Coronavirus: अब कोई डर ही नहीं, नहीं कर रहे बचने की कोशिश Gorakhpur News
जिला अस्पताल में मेडिसिन की चार ओपीडी चलती है। लगभग पांच सौ मरीज सर्दी-जुकाम व खांसी के आ रहे हैं। नाक कान गला रोग विभाग की ओपीडी में लगभग सौ मरीज आ रहे हैं जिसमें 40 फीसद गले में खराश की समस्या लेकर आ रहे हैं।
गोरखपुर, जेएनएन। सर्दी-जुकाम, खांसी व गले में खराश के मरीज कोरोना की दहशत में हैं। जिला अस्पताल की मेडिसिन व नाक, कान, गला रोग विभाग की ओपीडी में ऐसे मरीजों की संख्या बढ़ गई है। वे कोरोना जांच कराने पहुंच रहे हैं। लेकिन बचाव के नियमों का पालन नहीं कर रहे। सोमवार को शारीरिक दूरी को दरकिनार कर मरीज भीड़ लगाए खड़े थे। ज्यादातर ने मास्क भी नहीं लगाया था।
गले में खराश समस्या से 40 फीसद मरीज परेशान
जिला अस्पताल में मेडिसिन की चार ओपीडी चलती है। लगभग पांच सौ मरीज सर्दी-जुकाम व खांसी के आ रहे हैं। नाक, कान, गला रोग विभाग की ओपीडी में लगभग सौ मरीज आ रहे हैं जिसमें 40 फीसद गले में खराश की समस्या लेकर आ रहे हैं। ज्यादातर मरीज आते ही कोरोना जांच कराने की मांग कर रहे हैं। एक सप्ताह में लगभग 240 मरीजों की कोरोना जांच कराई गई, सभी निगेटिव रहे। डाक्टर उन्हें शारीरिक दूरी बनाए रखने की सलाह दे रहे हैं लेकिन मरीजों की भीड़ इसका पालन नहीं कर रही है। साथ ही लाउडस्पीकर से बार-बार 'दो गज की दूरी, मास्क है जरूरी संदेश प्रसारित किया जा रहा है। बावजूद इसके मरीजों की भीड़ इस पर ध्यान नहीं दे रही है। गांव की मरीजों की बात छोडि़ये शहर के मरीज भी इका ख्याल नहीं कर रहे हैं। जिला अस्पताल में आने वाले मरीजों को कोरानावायरस से कोई खौफ नहीं रह गया है। वह बेधड़क एक दूसरे से सट कर खड़े हो रहे हैं। और तो और ज्यादातर लोगों ने तो मास्क भी नहीं लगा रखा था। सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि अस्पताल में किस तरह से लोग लापरवाह हो गए हैं। कुछ दिन पहले तक यहां पर हर मरीज एक दूसरे से दूरी बनाकर ही खड़ा रहता था और सभी मास्क का प्रयोग करते रहे। अब ऐसी स्थिति नहीं है। यह लापरवाही काफी खतरनाक है।
क्या कहते हैं डाक्टर
जिला अस्पताल में फिजीशियन डा. बीके सुमन का कहना है कि मरीजों से बार-बार कहा जा रहा है कि शारीरिक दूरी का पालन करें। वे कोरोना से भयभीत तो हैं लेकिन बचाव के उपाय नहीं अपना रहे हैं। यह खतरनाक है। वहीं नाक-कान-गला रोग विशेषज्ञ डा. आलोक अग्रहरी का कहना है कि यह वायरल संक्रमण का समय चल रहा है। इसलिए गले में खराश के मरीज बढ़े हैं। डरने की जरूरत नहीं है। गले में खराश मौसम की वजह से हो सकता है।