अब योग्यता के आधार पर ही बन सकेंगे कक्ष निरीक्षक व परीक्षक Gorakhpur News
बोर्ड परीक्षा में शिक्षणेतर कर्मचारी व शिक्षकों की ड्यूटी लगाने के नियम में माध्यमिक शिक्षा परिषद ने बदलाव किया है। अबकी अयोग्य लोग कक्ष निरीक्षक और मूल्यांकन कार्य के लिए परीक्षक नहीं बनाए जाएंगे। बोर्ड ने सभी विद्यालयों से गुरुजी की अर्हता के साथ प्रमाणित सूची मांगी है।
धनेश्वर पांडेय, गोरखपुर : यूपी बोर्ड की परीक्षा में शिक्षणेतर कर्मचारी व शिक्षकों की ड्यूटी लगाने के नियम में माध्यमिक शिक्षा परिषद ने बदलाव किया है। अबकी अयोग्य लोग कक्ष निरीक्षक और मूल्यांकन कार्य के लिए परीक्षक नहीं बनाए जाएंगे। इसके लिए बोर्ड ने सभी विद्यालयों से गुरुजी की अर्हता के साथ उनकी प्रमाणित सूची मांगी है। परिषद ने इस सूची को बोर्ड की वेबसाइट पर अपलोड करने का निर्देश दिया है। सूची के आधार पर योग्यता के अनुसार ही ड्यूटी लगेगी।
कई बार अयोग्य लोगों को दायित्व सौंपने की शिकायत
शिकायत रहती है कि बोर्ड परीक्षा में कक्ष निरीक्षक और मूल्यांकन के दौरान कई बार अयोग्य लोगों को दायित्व सौंप दिया जाता है। इसको लेकर विभाग की कार्य प्रणाली पर सवाल खड़े होते हैं। गणित के गुरुजी को सामाजिक विज्ञान और हिदी के गुरुजी को रसायन विज्ञान की कापियां जांचने की जिम्मेदारी दे दी जाती है लेकिन, इस बार ऐसा नहीं हो सकेगा।
बोर्ड के सचिव ने सभी जिला विद्यालय निरीक्षकों से मांगी अध्यापकों की सूची
बोर्ड के सचिव दिव्यकांत शुक्ल ने सभी जिविनि को राजकीय, सहायता प्राप्त और वित्तविहीन विद्यालयों में कार्यरत अध्यापकों की सूची शैक्षिक विवरणों के साथ मांगी है। हालांकि बोर्ड ने परीक्षा केंद्रों के आवेदनों के दौरान भी गुरुजी का डाटा मांगा था। अब फिर से विद्यालयों से प्रधानाचार्यों की ओर से प्रमाणित सूची मांगी गई है।
योग्य शिक्षकों की कराई जा रही तैनाती
जिला विद्यालय निरीक्षक डा. उदय प्रकाश मिश्र ने कहा कि बोर्ड परीक्षा में मूल्यांकन और कक्ष निरीक्षक की नियुक्ति को योग्य शिक्षकों की तैनाती कराई जा रही है। इसमें किसी भी शिक्षणेतर कर्मचारी व अयोग्य शिक्षक का नाम नहीं दिया जाएगा। स्कूल छोड़कर जा चुके शिक्षकों के नाम भी नहीं दिए जाएंगे। इसको लेकर प्रधानाचार्यों को निर्देश दिए गए हैं। उनसे बोर्ड की वेबसाइट पर सभी जरूरी जानकारी को अपलोड करने को कहा गया है।