केंद्रीय जलशक्ति मंत्री ने कहा- पाक को समझौते से अधिक नहीं मिलेगा सिंधु का पानी Gorakhpur News
भारत के अंतिम बांध के बाद एक बड़ा भू-भाग है। इस भूभाग में इकट्ठा होने वाला वर्षा का जल नदियों के जरिए पाकिस्तान में जा रहा है। इसेे संरक्षित करने की योजना पर भी काम चल रहा है।
गोरखपुर, जेएनएन। केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा है कि सिंधु नदी से पाकिस्तान जाने वाले पानी पर लगाम लगाया जाएगा। सिंधु जल बंटवारा समझौते के तहत निर्धारित पानी के अतिरिक्त अब उसे एक बूंद भी पानी नहीं मिलेगा। फिलहाल समझौते से ज्यादा पानी वहां चला जा रहा है, जिसे नियंत्रित करने के लिए कार्य योजना तैयार की जा रही है। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर से अनु. 370 हटाए जाने के बाद पाकिस्तान की हरकतों की वजह से भारत उसके साथ कड़ा रुख अपना रहा है।
वर्षा का जल भी रोकेंगे
केंद्रीय मंत्री सोमवार को गोरखपुर के गोरखनाथ मंदिर में ब्रह्मलीन महंत दिग्विजय नाथ व महंत अवेद्यनाथ की पुण्यतिथि समारोह के तहत आयोजित संगोष्ठी में हिस्सा लेने के बाद संवाददाताओं से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने बताया कि रावी नदी पर भारत के अंतिम बांध के बाद एक बड़ा भू-भाग है। इस भूभाग में इकट्ठा होने वाला वर्षा का जल नदियों के जरिए पाकिस्तान में जा रहा है। इसेे संरक्षित करने की योजना पर भी काम चल रहा है।
यहां तक गंगा का पानी आचमन योग्य बनाने पर चल रहा काम
गंगा सफाई की प्रगति के सवाल पर गजेंद्र शेखावत ने कहा कि जिस लक्ष्य को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में प्रयास शुरू हुए थे, उसके परिणाम दिखने लगे हैं। इसमें राज्यों की बड़ी भूमिका है। उत्तर प्रदेश की पूर्ववर्ती सरकार ने इसे लेकर रुचि नहीं दिखाई, जिसके चलते हम उस लक्ष्य को नहीं पा सके, जिसे पाना चाहिए था। योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री बनने के बीते ढाई वर्ष में इस पर काफी काम हुआ। प्रयागराज के कुंभ में 25 करोड़ लोगों ने मुख्यमंत्री के प्रयास को देखा। अगले दो साल में और बेहतर परिणाम देखने को मिलेंगे। 2021 में हरिद्वार में आयोजित होने वाले महाकुंभ से पहले गंगोत्री से लेकर ऋषिकेश तक गंगा का पानी आचमन योग्य बन सके, इस दिशा में तेजी से कार्य चल रहा है।
18 करोड़ ग्रामीणों तक पहुंचाएंगे पाइप लाइन से पेयजल
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि देश के 18 करोड़ ग्रामीण परिवारों तक पाइप लाइन से पेयजल पहुंचाने का कार्य तेजी से चल रहा है। इसमें राज्यों की भूमिका महत्वपूर्ण है। उत्तर प्रदेश में योगी सरकार ने इसे लेकर 2022 तक का लक्ष्य बनाकर तेजी से कार्य किया है। उन्होंने उम्मीद जताई कि योगी सरकार नियत समय से पहले ही लक्ष्य को हासिल कर लेगी।