इलाज के नाम पर अधिक वसूली करने वाले चार अस्पतालों ने वापस किया पैसा Gorakhpur News
गोरखपुर में कोविड मरीजों से अधिक रुपये लेने वाले अस्पतालों ने प्रशासन के सख्त होने के बाद मरीजों को रुपये लौटा दिए हैं। जो रुपये लौटाए गए हैं उनमें 59 हजार रुपये से लेकर करीब तीन लाख रुपये तक शामिल हैं। अस्पताल के संचालकों ने माफी भी मांगी है।
गोरखपुर, जेएनएन। कोरोना के इलाज के नाम पर शासन की ओर से निर्धारित दर से अधिक पैसा वसूल करने वाले चार अस्पतालों ने जांच कमेटी का नोटिस मिलने के बाद ही मरीजों को उनके पैसे वापस कर दिए हैं। इन अस्पतालों को चेतावनी देने के लिए कमेटी की ओर से मुख्य चिकित्साधिकारी को पत्र लिखा गया है। जो पैसे वापस किए गए हैं, उनमें 59 हजार रुपये से लेकर करीब तीन लाख रुपये तक शामिल हैं। आरोपित कोविड अस्पताल के संचालकों की ओर से कमेटी से माफी भी मांगी गई है।
चेतावनी के लिए जांच कमेटी की ओर से मुख्य चिकित्साधिकारी को लिखा गया पत्र
कोरोना के इलाज व जांच के नाम पर अधिक पैसा वसूल करने वाले कोविड अस्पतालों व निजी पैथोलाजी के खिलाफ जांच के लिए मंडलायुक्त जयंत नार्लिकर ने एक कमेटी का गठन किया है। अपर आयुक्त न्यायिक रतिभान के नेतृत्व में गठित कमेटी के पास अब तक विभिन्न अस्पतालों के खिलाफ 21 शिकायतें प्राप्त हुई हैं। एक अस्पताल के खिलाफ की गई शिकायत गलत पाई गई है।
सभी अस्पतालों को नोटिस जाने के बाद हड़कंप मच गया और कार्रवाई न हो इसके लिए अस्पताल संचालक पैरवी भी करने लगे। उन्होंने चार अस्पताल संचालकों ने शिकायतकर्ताओं का पैसा भी वापस कर दिया। जल्द ही इन्हें लिखित चेतावनी भी जारी हो सकती है। जांच कमेटी के अध्यक्ष रतिभान ने बताया कि 21 शिकायतें मिली थीं, सभी को नोटिस जारी हुई है। जल्द ही कार्यवाही पूरी होगी। कमेटी कुछ मामलों का स्वत: संज्ञान भी ले रही है।
एक अस्पताल का निरस्त हो चुका है पंजीकरण
जांच कमेटी के समक्ष सबसे पहली शिकायत मेडिकल कालेज रोड स्थित बद्रिका मेडिकल रिसर्च सेंटर की आई थी। जांच में आरोप सही पाए जाने पर संचालक के खिलाफ एफआइआर दर्ज कराई गई और उसका पंजीकरण भी निरस्त कर दिया गया।
पोस्ट कोविड दिक्क्तों से बचाव के लिए तैयार हो रहा प्रोटोकाल
कोरोना से ठीक होने के बाद भी लोगों में शुगर बढ़ने, ब्लैक फंगस जैसी दिक्कतें देखने को मिल रही हैं। जिला एवं महिला अस्पताल, बीआरडी मेडिकल कालेज में इसके इलाज के लिए पोस्ट कोविड ओपीडी शुरू हो चुकी है। अब प्रशासन कोरोना से ठीक होने वाले लोगों को इस बात के लिए जागरूक करेगा कि वे कौन सी सावधानियां बरत कर ब्लैक फंगस या अन्य किसी बीमारी से छुटकारा पा सकते हैं।
बीआरडी मेडिकल कालेज एवं रीजनल मेडिकल रिसर्च सेंटर (आरएमआरसी) की ओर से इसके लक्षण व बचाव को लेकर प्रोटोकाल तैयार किया गया है। इस प्रोटोकाल का हिन्दी अनुवाद कराकर प्रशासन पंफलेट छपवाने की तैयारी कर रहा है। इसे शहर एवं ग्रामीण क्षेत्रों में वितरित कराया जाएगा और लोगों को इसकी गंभीरता बताते हुए इससे बचने के उपाय अपनाने को जागरूक किया जाएगा। किस तरह के लक्षण आते हैं और इस बीमारी का क्या कारण है, इन बातों को भी पंफलेट पर प्रकाशित कराया जाएगा।