फिरोज ने कर रखीं थी तीन शादियां, संपत्तियों का ब्योरा जुटा रही एसटीएफ Gorakhpur News
एसटीएफ की एक टीम फिरोज के गुर्गों को लेकर मुंबई में उसकी तीनों पत्नियों के आवासों पर पहुंची थी। बस्ती स्थित आइसीआइसीआइ बैंक लूटने के बाद अगले दिन ही मुंबई भाग गया था।
गोरखपुर, जेएनएन। एसटीएफ के साथ मुठभेड़ में मारा गया डेढ़ लाख का इनामी फिरोज उर्फ इरफान पठान ने तीन शादियां की थीं और सभी मुंबई में रहती थीं। कहने को तो दो को उसने तलाक दे दिया था लेकिन हकीकत में तीनों के संपर्क में था। यह सब उसने अपराध की दुनिया से आने वाली संपत्ति को बचाने और खपाने के लिए किया था। उनके नाम से जमीन और फ्लैट खरीदे थे।
पुलिस पहुंची थी तीनों पत्नियों के पास
एसटीएफ की एक टीम फिरोज के गुर्गों को लेकर मुंबई में उसकी तीनों पत्नियों के आवासों पर पहुंची थी। एसटीएफ से मिली जानकारी के अनुसार बस्ती स्थित आइसीआइसीआइ बैंक लूटने के बाद अगले दिन ही मुंबई भाग गया था।
बड़ी घटना को अंजाम देने की फिराक में था फिरोज
यहां पर कुछ दिन रहकर लूट की रकम खपाने के बाद वह फिर से पूर्वांचल में बड़ी घटना को अंजाम देने की फिराक में लगा था। नाम और मोबाइल नंबर पाने के बाद एसटीएफ की सर्विलांस सेल ने उसकी निगरानी तेज कर दी। किसी और घटना को वह अंजाम देता इससे पहले ही पुलिस मुठभेड़ में मारा गया।
यहां चार माह तक किराये के मकान में था फिरोज
सिद्धार्थनगर जिले के खेसरहा थाना क्षेत्र के एक गांव में किराए पर मकान लेकर फिरोज चार महीने तक रहा। साथ में उसकी एक पत्नी हिना भी थी। यहीं पर उसने सलमान उर्फ बटन के साथ मिलकर गिरोह खड़ा किया।
पहली वारदात फरेंदा में बैंक लूटकांड
गिरोह खड़ा करने के बाद उसने योजना बनाई और सबसे पहले सितंबर में फरेंदा में एचडीएफसी बैंक लूटा। टांडा में हुई बैंक लूट की घटना में भी इसी गिरोह का हाथ था। हालांकि टांडा की घटना नहीं खोली जा सकी। फिरोज पुलिस की पकड़ से बचने के लिए नाम, पते के साथ ही अपराध का कार्यक्षेत्र और संपर्क नंबर भी वह बदलता रहता था। चार महीने में उसने तीन सौ नंबर बदले।