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64 दिन बाद रिहा हुई डारिया, क्राइम ब्रांच ले गई दूतावास

जागरण सवाददाता, गोरखपुर : यूक्रेनी मॉडल डारिया मोलचन शुक्रवार की दोपहर जिला जेल से रिहा हुई। गेट पर

By JagranEdited By: Published: Sat, 09 Jun 2018 12:41 AM (IST)Updated: Sat, 09 Jun 2018 12:41 AM (IST)
64 दिन बाद रिहा हुई डारिया, क्राइम ब्रांच ले गई दूतावास
64 दिन बाद रिहा हुई डारिया, क्राइम ब्रांच ले गई दूतावास

जागरण सवाददाता, गोरखपुर : यूक्रेनी मॉडल डारिया मोलचन शुक्रवार की दोपहर जिला जेल से रिहा हुई। गेट पर खड़ी क्राइम ब्राच व एलआइयू की टीम अपनी सुरक्षा में उसे लेकर दिल्ली रवाना हो गई। अपनी सफाई में मॉडल ने कुछ भी बोलने से इन्कार कर दिया। वहीं अधिवक्ता और पैरोकार भी उससे नहीं मिल पाए।

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यूक्रेन के सूमी 85, किरोवा स्ट्रीट निवासी डारिया मोलचन (20) पुत्री विटाली मोचलन को एसटीएफ की गोरखपुर यूनिट ने दो अप्रैल को पार्क रोड से गिरफ्तार किया था। एसटीएफ इंस्पेक्टर सत्यप्रकाश सिंह की तहरीर पर कैंट पुलिस ने उसके खिलाफ फर्जी दस्तावेज तैयार कर जालसाजी करने और विदेश अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया था। 20 दिन पहले यूक्रेनी मॉडल को हाईकोर्ट से सशर्त जमानत मिली थी। 28 मई को कोलकाता के भवानीपुर, लाला लाजपत सराय निवासी रवि भालोटिया और न्यू अलीपुर मोहल्ले के कुमार बिहान ने कोर्ट में अर्जी देकर मॉडल की जमानत ली। गुरुवार शाम चार बजे करीब रवि और कुमार बिहान सीजेएम कोर्ट में पेश हुए। दोनों से बातचीत करने के बाद सीजेएम ने रिहाई आदेश जारी कर दिया। जेल प्रशासन ने कागजी कार्रवाई पूरी कर शुक्रवार दोपहर करीब एक बजे डारिया मोलचन को रिहा किया। गेट पर गाड़ी लेकर खड़ी क्राइम ब्राच की टीम उसे अपनी सुरक्षा में लेकर दिल्ली रवाना हो गई। वहां उसे यूक्रेनी दूतावास के अधिकारियों को सुपुर्द किया जाएगा।

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यूक्रेनी माडल को भारत लाने वाले नहीं हो पाए बेनकाब :

प्रतिबंध के बाद भी यूक्रेनी मॉडल के भारत आने के पीछे क्या राज है दो महीने में एसटीएफ, क्राइम ब्रांच व स्थानीय पुलिस इसका पता लगा पाई। शुरुआती दिनों में तेज गति से छानबीन शुरू हुई। मॉडल के गोरखपुर व दिल्ली में रहने वाले मददगारों से पूछताछ किए जाने का पुलिस ने दावा किया लेकिन बाद में एसटीएफ के साथ ही क्राइम ब्रांच सुस्त पड़ गई।

डारिया मोलचन भारत के अलावा जुलाई 2013 में चीन के बीजिंग शहर गई थी। अपने फेसबुक एकाउंट पर उसने इसका जिक्र किया है। इसके अलावा खाड़ी देशों में भी घूमने गई है। यूक्रेन की शार्म एजेंसी से माडलिंग शुरू करने के बाद वर्ष 2016 में भारत आयी। यहां कुछ दिनों तक ही वह शार्म एजेंसी से जुड़ी रही। इसके बाद दिल्ली व गोरखपुर के रहने वाले व्यापारियों से जुड़ गई। यह लोग डारिया के फेसबुक फ्रेंड हैं। यूक्रेनी माडल की संदिग्ध गतिविधि को देख भारत सरकार ने उसके देश में आने पर प्रतिबंध लगा दिया। दिसंबर 2017 में उसे एयरपोर्ट से ही लौटा दिया गया था। इस बीच वह भारतीय दोस्तों के संपर्क में रही। दिल्ली के रहने वाले इमशान व कासिफ ने उसे काठमांडू बुलाया। वहां से बार्डर पार कराकर दिल्ली ले गए। 15 दिन तक डारिया नई दिल्ली में इमशान के घर पर ही रही थी। जिसका पता एसटीएफ, क्राइम ब्रांच व खुफिया एजेंसी नहीं ढूंढ पाई। मरिना अमन मेहता के नाम से बने फर्जी ड्राइविंग लाइसेंस पर दो अप्रैल को उसने दिल्ली से गोरखपुर तक की हवाई यात्रा की। प्रतिबंध के बाद भी विदेशी मॉडल के भारत आना और एक महीने बाद वापस होना कई तरह के सवाल खड़ा कर रहा है। बता दें कि इस प्रकरण से कई बड़े लोग जुडे़ हैं।

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वायरल हुई पुलिस अधिकारी की तस्वीर :

डारिया मोलचन के मोबाइल में मिली पुलिस अधिकारी की तस्वीर शुक्रवार को वायरल हो गई। तस्वीर में डारिया ने पुलिस अधिकारी की वर्दी व टोपी पहन रखी है। बताया जा रहा है कि इसी पुलिस अधिकारी की मदद से डारिया जमानत पर छूटी है।

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तहरीर में है इन लोगों का नाम :

कैंट थाने में दर्ज मुकदमे में डारिया मुख्य आरोपित है। मदद करने वालों में दिल्ली निवासी हिमांशु भसीन, वीरू विष्ट, इमशान अली, कासिफ, अब्दुल, राहुल, पुष्पिक, सौरभ, रोहित और गोरखपुर के रहने वाले अनुज पोद्दार का नाम है।


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